चीन सीमा विवाद हर दिन बढ़ता ही जा रहा है। पूर्वी लद्दाख में हालत सुधरने का नाम नहीं ले रहे हैं। चीनी सेना अभी भी आक्रम पोजीशन पर खड़ी है। इस मसले का हल निकालने के लिए कई बार वार्ता हो चुकी है। लेकिन भारत सरकार विफल रही। चीन सीमा विवाद को लेकर रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने बयान जारी किया है। उन्होंने कहा वार्ता में कोई हल नहीं निकला। लेकिन जो हमें छेड़ेगा हम उसे छोड़ेंगे नहीं।

राजनाथ सिंह ने एएनआई को दिए इंटरव्यू में कहा है कि, “एलएसी पर गतिरोध को हल करने के लिए चीन के साथ कूटनीतिक और सैन्य स्तर की वार्ता से कोई ‘सार्थक समाधान’ नहीं निकला है। हम सभी देशों के साथ शांतिपूर्ण संबंध बनाए रखना चाहते हैं। 2020 में जो बॉर्डर पर हुआ क्या वो चीन-पाक की मिलीभगत थी इसपर जन राजनाथ सिंह ने सवाल पूछा गया तो उन्होने कहा “ जो हमें छेड़ेगा उसे हम छोड़ेंगे नहीं।”

रक्षा मंत्री ने कहा, “सैन्य स्तर की वार्ता कभी भी हो सकती है। हाल ही में हुई वार्ता में कोई हल नहीं निकला। सीमा के हालत नाजुक हैं। हम अपनी सेना को वहां से हटा नहीं सकते हैं। ना ही तो चीन अपनी सेना को हटाने के मूड में है। हालात को देखते हुए कुछ अच्छा नहीं कहा जा सकता है। हम वार्त जारी रखेंगे उनकी तरफ से अच्छे की उम्मीद करते हैं।”

विस्तारवादी को लेकर रक्षा मंत्री से जब सावल किया गया तो उन्होंने कहा कि, यदि को देश विस्तारवादी है और अन्य देश की जमीन पर कब्जा करना चाहता है तो भारत अपनी जमीन को बचाने के लिए सक्षम है। ये देश ताकतवर है।

डिसइंगेजमेंट और डी-एस्केलेट पर बातचीत रुकने पर रक्षा मंत्री ने कहा “इंडो-चीन के बीच जो स्टैंड ऑफ चल रहा था उसे दूर करने के लिए बातचीत चल रही थी लेकिन उसमें अभी तक कोई कामयाबी नहीं मिली है, अभी तक यथास्थिति बनी हुई है। अगले राउंड की भी बैठक होगी उसमें मिलिट्री लेवल पर बातचीत होगी”

गौरतलब है कि, डब्ल्यूएमसीसी की 18 दिसंबर को हुई बैठक के बाद विदेश मंत्रालय ने कहा था कि दोनों पक्ष राजनयिक और सैन्य स्तर पर करीबी परामर्श बनाए रखने पर सहमत हुए हैं।

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