मध्य प्रदेश के मंदसौर से 7 साल की मासूम बच्ची के साथ निर्भया मामले जैसी हैवानियत सामने आने के बाद जिलेभर में प्रदर्शन जारी है। लोगों ने विरोध में  गुरुवार को दुकानें बंद रखीं। वहीं मुस्लिम समुदाय के नेताओं ने गुरुवार को आरोपी को फांसी की सजा देने की मांग की।

इस घटना के विरोध में कई मुस्लिम समुदाय गुरुवार को सड़कों पर दिखे। वक्फ अंजुमन इस्लाम कमिटी सदर मोहम्मद यूनुस शेख ने मंदसौर एसपी मनोज सिंह के समक्ष ज्ञापन सौंपने के लिए शिष्टमंडल का नेतृत्व किया। उन्होंने कहा, ‘समुदाय में इस तरह के जघन्य अपराधी के लिए कोई जगह नहीं है।’ प्रदर्शन कर रहे लोगों ने मामले की फास्ट ट्रैक सुनवाई और दोषी के लिए मृत्युदंड की मांग की है।

इसके साथ ही उन्होंने यह भी घोषणा की कि आरोपी के शव को जिले के कब्रिस्तान में जगह नहीं दी जाएगी। बता दें कि  पुलिस ने सीसीटीवी फुटेज के आधार पर आरोपी को गिरफ्तार कर उसे पांच दिन के लिए रिमांड पर भेजा है। अस्पताल में भर्ती बच्ची इस समय जिंदगी की जंग लड़ रही है।

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, बच्ची के साथ इस हद तक हैवानियत की गई है कि डॉक्टर भी कांप गए हैं। डॉक्टर्स ने बताया कि अस्पताल में भर्ती पीड़िता जिंदगी और मौत के बीच जूझ रही है। डॉक्टरों ने बताया कि गुरुवार को उसके शरीर ने कई सर्जरी को झेला है। उस पर धारदार हथियार से कई वार किए गए जिससे उसके शरीर में गहरे घाव हैं।

आपको बता दें कि 7 साल की बच्ची के साथ मंगलवार को स्कूल से किडनैप करके बलात्कार किया गया। इसके बाद आरोपी ने बच्ची पर बर्बरता से हमले किए। उसके प्राइवेट पार्ट्स को नुकसान पहुंचाया। साथ ही गला रेतकर हत्या की कोशिश की। बच्ची मंगलवार को स्कूल से गायब हुई थी।

वहीं मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने ट्वीट कर अपनी वेदना व्यक्त की। पुलिस और प्रशासन को घटना की पूरी जांच और ट्रायल के आदेश दिए हैं। शिवराज ने बताया कि पीड़िता की हालत में सुधार हो रहा है। उन्होंने कहा कि कोर्ट में केस की जल्द सुनवाई होनी चाहिए और अपराधी को इतने निर्मम अपराध के लिए मरने तक फांसी पर लटकाया जाना चाहिए।

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