एक जुलाई को जीएसटी को लागू किए एक साल पूरा हो जाएगा। खबर है कि सरकार इस दिन को यादगार बनाने के मुड में है। केंद्र सरकार जीएसटी की सफलता को दिखाने के लिए 1 जुलाई को बतौर जीएसटी दिवस धूमधाम के साथ मनाने की तैयारी कर रही है। बताया जा रहा है कि सरकार ने एक जुलाई को जीएसटी दिवस के रूप में मनाने का फैसला किया है।

जीएसटी दिवस के लिए दिल्ली के आंबेडकर भवन में बड़े कार्यक्रम की योजना है। प्रस्तावित कार्यक्रम में उद्योग मंडलों के साथ साथ, व्यापारी, कर अधिकारी और वित्त मंत्रालय का कार्यभार देख रहे पीयूष गोयल भी भाग लेंगे। केंद्रीय मंत्री अरूण जेटली इस कार्यक्रम को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए संबोधित कर सकते हैं।

जीएसटी को आजादी के बाद देश का सबसे बड़ा कर सुधार बताया जा रहा है।  इसकी शुरुआत 30 जून की मध्यरात्रि को संसद के केंद्रीय कक्ष में आयोजित भव्य कार्यक्रम में तत्कालीन राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने की थी। इस तरह से एक जुलाई 2017 से अस्तित्व में आए जीएसटी से देश माल एवं सेवाओं की आवाजाही के लिए एकल बाजार बन गया था।

वहीं हाल ही में पीएम मोदी ने मन की बात कार्यक्रम में जीएसटी की पहली सालगिरह आने से पहले इसकी सफलता का क्रेडिट राज्यों को दिया। उन्होंने कहा कि ‘वन नेशन वन टैक्स’ देश के लोगों का सपना था, जो अब हकीकत में बदल चुका है।

केंद्र सरकार का दावा है कि ये अप्रत्यक्ष कर प्रणाली सुचारू ढंग से काम कर रही है और अब उसका जोर रिटर्न फॉर्म के सरलीकरण पर रहेगा।अधिया ने कहा कि 1.11 करोड़ कारोबारों ने खुद को जीएसटी के तहत पंजीबद्ध करवाया है. मासिक रिटर्न दाखिल करने व कर भुगतान का अनुपालन बढ़ रहा है और आने वाले समय में ये लगभग 96 प्रतिशत होने की उम्मीद है।

—ब्यूरो रिपोर्ट, एपीएन

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