वेंकैया नायडू के उपराष्ट्रपति पद का उम्मीदवार चुने जाने के बाद मोदी मंत्रीमंडल के विस्तार की अब प्रबल संभावना जताई जा रही है। वेंकैया नायडू के पास तीन अहम मंत्रालय सूचना प्रसारण मंत्रालय, शहरी विकास मंत्रालय और गरीबी उन्मूलन मंत्रालय थे। हालांकि अभी तात्कालिक रूप से  सूचना प्रसारण मंत्रालय का अतिरिक्त प्रभार कपड़ा मंत्री स्मृति ईरानी और शहरी विकास और गरीबी उन्मूलन मंत्रालय का जिम्मा ग्रामीण विकास मंत्री नरेंद्र तोमर को दे दिया गया है। लेकिन यह कयास लगाए जा रहे हैं कि मानसून सत्र के दौरान या मानसून सत्र की समाप्ति के बाद पीएम मोदी अपने मंत्रीमंडल में विस्तार और फेरबदल कर सकते हैं।

यह मोदी मंत्रीमंडल का कुल तीसरा विस्तार होगा और इसमें वह कुछ चौकाने वाले फैसले भी ले सकते हैं। इससे पहले जब जुलाई 2016 में मोदी मंत्रीमंडल में फेरबदल हुआ था तो मोदी ने चौकाते हुए स्मृति ईरानी की जगह प्रकाश जावड़ेकर को मानव संसाधन विकास मंत्री बनाया था और ईरानी को कपडा मंत्रालय में भेज दिया गया था।

मोदी मंत्रीमंडल का विस्तार इसलिए भी जरुरी है क्योंकि कई अहम मंत्रालय अब खाली हो गए है या उनका जिम्मा किसी अन्य कैबिनेट मंत्री के पास है। बता दें कि अरुण जेटली पहले ही से वित्त मंत्रालय के साथ रक्षा मंत्रालय का अतिरिक्त प्रभार संभाल रहे हैं। इसी साल मनोहर पर्रिकर के गोवा के मुख्यमंत्री बनने से रक्षा मंत्री का पद खाली हुआ था। पाकिस्तान और चीन के साथ चल रही तनातनी के बीच देश को एक पूर्णकालिक रक्षामंत्री की सख्त जरुरत है। वहीं पर्यावरण मंत्री अनिल दवे का निधन होने से हर्षवर्धन को पर्यावरण मंत्रालय का अतिरिक्त प्रभार दिया गया है। हर्षवर्धन पहले से विज्ञान मंत्रालय संभाल रहे हैं।

सूत्रों के अनुसार 75 साल की उम्र समय सीमा को पार कर चुके सूक्ष्म, छोटे और मध्यम उद्यमों के लिए मंत्री कलराज मिश्रा को राज्यपाल बनाया जा सकता है। उन्हें उत्तर प्रदेश चुनावों को ध्यान में रखते हुए नहीं  हटाया गया था। हम आपको बता दें कि अभी तक 6 राज्यों के राजभवन खाली हैं।

इसके साथ ही पीएम मोदी अपने इस मंत्रीमंडल विस्तार में गुजरात,हिमाचल प्रदेश मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, राजस्थान, कर्नाटक समेत कई अहम राज्यों मे होने वाले चुनावी समीकरण का ध्यान रखेंगे और इन राज्यों के सांसदों को मंत्री पद मिल सकता है। इसके अलावा पिछले तीन साल के कार्यकाल के दौरान पीएम मंत्री की उम्मीदों पर खरा न उतरने वाले मंत्रीयों की छुट्टी भी हो सकती है।

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