उत्तर प्रदेश में परीक्षाओं में अनियमितता से अब उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग का भी नाम जुड़ गया है। आज इलाहाबाद में पीसीएस मेन्स परीक्षा-2017 के हिन्दी विषय में गलत पेपर बांट दिया गया। इलाहाबाद के जीआइसी केंद्र में प्रथम पाली में दूसरी पाली का पेपर बांट दिया गया। जिसके कारण आज की दोनों पारी की परीक्षा को रद्द कर दिया गया है।

उप्र लोकसेवा आयोग ने मंगलवार को पीसीएस मेंस 2017 की दोनों पाली की परीक्षा निरस्त कर दी है,  बाकी प्रश्नपत्र की परीक्षा बुधवार से तय कार्यक्रम के अनुसार होगी। निरस्त परीक्षा का कार्यक्रम बाद में जारी होगा। यह जानकारी आयोग के सचिव जगदीश ने दी है। उत्तर प्रदेश लोकसेवा आयोग मुख्यालय पर बड़ी संख्या में पुलिस फोर्स तैनात कर दिया गया है।

पीसीएस 2017 मुख्य परीक्षा के जीआइसी इलाहाबाद केंद्र के अभ्यर्थियों का कहना है कि आयोग ने ही निबंध का पेपर भेज दिया था। जीआइसी प्रशासन के बताने पर आयोग ने भेजा दूसरा यानी सामान्य हिंदी का पेपर। लेकिन तब तक हंगामा शुरू हो चुका था।

पीसीएस मेन्स 2017 की दोनों पालियों की परीक्षा निरस्त कर दी गई है। इलाहाबाद में जीआईसी सेंटर पर दूसरी पॉली का प्रश्न पत्र खुलने से परीक्षा निरस्त करनी पड़ी। दूसरी पाली में हिंदी निबंध की परीक्षा थी और पहली पाली में सामान्य हिन्दी की परीक्षा थी,लेकिन गलती से हिंदी निबंध का प्रश्न पत्र खुल गया। जिसके बाद अभ्यर्थियों ने परीक्षा का बहिष्कार कर दिया। अभ्यर्थियों के हंगामे के बाद लोक सेवा आयोग को आज की परीक्षा निरस्त करने का निर्णय लेना पड़ा। यूपीपीएससी के सचिव जगदीश ने बताया कि आज होने वाली परीक्षा की तिथि बाद में घोषित की जाएगी।

पीसीएस मुख्य परीक्षा 2017 में आज पहली पाली के पेपर के दौरान यहां के जीआइसी केंद्र में हंगामा हो गया। आज पहली पाली में सामान्य हिन्दी की परीक्षा थी, लेकिन यहां पर छात्रों को जो पेपर मिला, वह दूसरी पाली वाला था। जीआइसी में सामान्य हिंदी की जगह निबंध का पेपर खुलने के कारण अभ्यर्थी हंगामा करने लगे। कई अभ्यर्थियों ने परीक्षा छोड़ कर धरना दिया।

अभ्यर्थियों ने कहा कि शिक्षक निबंध का पेपर ही हल करने का दबाव बना रहे थे। आयोग की परीक्षा इंचार्ज अंजू कटियार इस सूचना के बाद केंद्र जीआइसी पहुंची। इसके बाद वहां से अभ्यर्थी केपी कॉलेज पहुंचे। इन सभी ने एक स्वर से परीक्षा रद करने की मांग की। आयोग ने भी कोई रास्ता न देख जीआइसी केंद्र की पहली पारी की परीक्षा को रद कर दिया। लखनऊ के 11 और इलाहाबाद के 17 केंद्रों पर पीसीएस मेन्स परीक्षा 18 जून से हो रही है। आज निरस्त हुई परीक्षा को 7 जुलाई के बाद ही आयोजित कराई जाएगी।

बदलाव का परीक्षा पर दिखा असर, प्रश्नपत्र रहा औसत

प्रदेश में सत्ता बदलने के बाद प्रांतीय सेवाओं में योग्य उम्मीदवारों के चयन के लिए दो बड़े बदलाव हुए। पहला, उप्र लोकसेवा आयोग की प्रतियोगी परीक्षा के प्रति सोच बदली और दूसरा, अभ्यर्थियों की आयोग के प्रति धारणा। पीसीएस (मुख्य) परीक्षा 2017 के पहले दिन सामान्य अध्ययन विषय में पूछे गए प्रश्नों पर अभ्यर्थियों ने संतोष जताया। अभ्यर्थियों की मानें तो इस बार विशेषज्ञों ने काफी मेहनत की है। प्रश्नों का चयन बेहतर रहा। इतिहास व अर्थशास्त्र के प्रश्न काफी अच्छे रहे।

गौरतलब है कि आयोग की ओर से करीब छह साल से पीसीएस समेत अन्य प्रतियोगी परीक्षाओं के प्रश्न व उत्तरों पर अभ्यर्थियों की लगातार अंगुली उठती रही है। चयन और आरक्षण में मनमानी के गंभीर आरोप लगे। लेकिन, 24 सितंबर को हुई पीसीएस 2017 की प्रारंभिक परीक्षा में अभ्यर्थियों ने आयोग के विशेषज्ञों की जो सराहना की थी वह सोमवार से शुरू हुई मुख्य परीक्षा में भी कायम रही। अभ्यर्थियों की मानें तो अब से पहले हुई परीक्षाओं में प्रश्नों की पुनरावृत्ति हर साल होती थी। यही प्रमुख वजह थी कि प्रश्नों व उत्तरों को लेकर विवाद हर साल उठे।

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