किसान आंदोलन के प्रणेता योगेंद्र यादव की अगुवाई वाले स्वराज इंडिया ने अगले वर्ष होने वाले लोकसभा चुनाव के मद्देनजर ‘राष्ट्रनिर्माण के लिए लोक अभियान-2019 (आईकैन19)’ की शुरूआत किये जाने की रविवार को घोषणा की। यादव ने यहां प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि आगामी आम चुनाव के मद्देनजर राजनीतिक भागीदारी के लिए ‘आईकैन19’ अभियान की शुरूआत की जा रही है और इसका प्रमुख एजेंडा “ हिन्दू न मुसलमान, बस किसान-नौजवान” है। उन्होंने कहा कि किसान और नौजवान आज देश के भविष्य के दिशासूचक हैं, लेकिन दुर्भाग्यवश इनकी आवाज को दबाने तथा राजनीतिक रोटियां सेंकने के लिए देश को एक बार फिर सांप्रदायिकता की आग में झोंकने की तैयारी की जा रही है। उन्होंने जोर दिया कि अगला चुनाव अगर किसानों और नौजवानों के मुद्दों पर केंद्रित होकर लड़ा जाये तो जो भी सत्ता में आये , यह देश आगे ही बढ़ेगा न कि पीछे हटेगा।

उन्होंने किसी का नाम लिए बगैर कहा,“पांच साल पहले जनता ने जिन्हें बड़ी उम्मीदों के साथ सत्ता सौंपी थी, उन्होंने जनता को नाउम्मीद करने में कोई कोरकसर नहीं छोड़ी। जिनसे विकल्प की उम्मीद थी , वे भी गये-गुजरे निकले।” उन्होंने कहा, “ देश के लोग बेड़ा काराने में अपना योगदान देने के लिए तत्पर हैं लेकिन विडंबना है कि न कोई नौका है और ना ही कोई मांझी। अब हमें ही नौका बनानी होगी और पतवार भी हमें ही संभालनी होगी।”

आईकैन19’ अभियान के संदर्भ में जानकारी देते हुए यादव ने बताया कि इस अभियान के जरिए आम नागरिकों को भी चुनावी राजनीति में भागीदारी का मौका मिलेगा । अगले आम चुनाव में देश के नागरिकों, संगठनों और राजनीतिक पार्टियों से इस अभियान से जुड़ने की अपील की जायेगी । अभियान से जुड़ने वाले व्यक्ति अथवा संगठन असल मुद्दे चुन सकेंगे और चुनाव का एजेंडा तय कर सकेंगे।

उन्होंने विश्वास जताया कि आने वाले कुछ दिनों में कई संगठन और आंदोलन से जुड़े लोग उनके अभियान में सहभागी होंगे। इस मौके पर स्वराज इंडिया के कार्यकारी अध्यक्ष अजीत झा, उपाध्यक्ष पुरुषोत्तम वी, महासचिव अविक साहा और राष्ट्रीय प्रवक्ता अनुपम ने भी विचार व्यक्त किये और अभियान के क्रियाकलापों का खाका पेश किया।

राम मंदिर का मुद्दा, किसानों के हितों से ध्यान हटाने के लिए : योगेंद्र
किसान आंदोलन के प्रणेता एवं स्वराज इंडिया के राष्ट्रीय अध्यक्ष योगेंद्र यादव ने रविवार को कहा कि किसानों और बेरोजगार नौजवानों के हितों से लोगों का ध्यान बंटाने के लिए हर चुनावों की तरह इस बार भी 2019 के आम चुनाव के मद्देनजर राम मंदिर का मुद्दा उछाला जा रहा है। यादव ने यहां प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि किसान आंदोलन ने अब व्यापक रूप ले लिया है और हाल ही में दिल्ली में आयोजित किसान रैली में पूरे देश भर से आये किसानों ने अपना स्वर बुलंद किया। उन्होंने जोर दिया कि इससे साबित हो गया कि किसानों का मुद्दा उनका अपना स्वयं का नहीं बल्कि समूचे देश का मुद्दा है और इसी रैली के जवाब में आज दिल्ली के रामलीला मैदान में भक्तों का रामभक्तों का जमावड़ा इकट्ठा किया जा रहा है। यह पूछे जाने पर कि क्या वह राम मंदिर निर्माण के समर्थन में हैं , उन्होंने कहा कि देश में राम मंदिर हजारों की संख्या में है और असंख्य लोगों की आस्था भी है लेकिन यह राम मंदिर निर्माण का जो मुद्दा है वह चुनावी लाभ की नीयत से ओतप्रोत है और जब भी कोई चुनाव नजदीक आता है इस मुद्दे को जोर-शोर से उछाला जाता है।

उन्होंने बिना किसी राजनीतिक दल या संगठन का नाम न लेते हुए व्यंग्यात्मक लहजे में कहा, “मंदिर वहीं बनायेंगे, डेट नहीं बतायेंगे, चुनाव में फिर आयेंगे।” उन्होंने कहा कि राम मंदिर को मुद्दा बनाने वालों की यही नीति है।” आगामी लोकसभा चुनाव के मद्देनजर विभिन्न विपक्षी दलों के महागठबंधन दल में अपनी पार्टी के शामिल होने की संभावनाओं को सिरे से खारिज करते हुए योगेंद्र यादव ने कहा कि महागठबंधन बनाने वालों की कोई नीति, कोई स्पष्ट विचारधारा नहीं है और इसमें देशहित के मुद्दों के बजाय सिर्फ सीटों के बंटवारा ही अहम है।

-साभार, ईएनसी टाईम्स

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