देश की जनता अपनी सरकार पर कितना भरोसा करती है, इस मामले में मोदी सरकार अब भी अपना परचम लहराए हुए है। ग्लोबल ट्रस्ट इंडेक्स ने अपनी हर साल जारी की जाने वाली वार्षिक रिपोर्ट पेश कर दी है। इस बार ग्लोबल ट्रस्ट इंडेक्स में भारत दूसरी बार उन टॉप तीन देशों में शामिल है। जिनकी जनता अपने देश की सरकारों पर विश्वास करती हैं। हालांकि  पिछले एक साल में भारत इस मामले में दो पायदान नीचे हो गया है। पिछले साल की जीटीआई की रेटिंग में 72 फीसदी आंकड़े के साथ भारत शीर्ष पर था। नई रेटिंग में वह नीचे आ गया, लेकिन शीर्ष तीन देशों में जगह बनाने में कामयाब रहा।

सूची के अनुसार इस साल इस मामले में पहले स्थान पर चीन है। वहीं दूसरा स्थान पाने में इंडोनेशिया कामयाब रहा। जीएसटी और नोटबंदी जैसे कड़े आर्थिक सुधारों के बीच यह रैंकिंग सरकार में उत्साह भरने का काम करेगी। सरकार के अलावा जनता बिजनस वर्ग, मीडिया और एनजीओ को किस तरह देखती है, उस मामले में भी भारत ‘ट्रस्ट जोन’ में आता है।  हालांकि इन्हें लेकर लोगों के विश्वास में कुल 13 प्रतिशत अंकों की गिरावट हुई है, लेकिन अपनी-अपनी श्रेणी में ये सभी 60 से 100 प्रतिशत अंक कायम रखने में सफल रहे। यह वर्ग किसी देश के लोगों के अपने संस्थानों पर भरोसे की पुष्टि करता है।

एशिया-प्रशांत में व्यापार और सुरक्षा के मामले में अमेरिका को ‘बेदखल’ करने की चीन की कथित सफलता की वजह से वहां की जनता का भरोसा सरकार में तेजी से बढ़ा है। वहीं  अमेरिका को जनता के भरोसे के मोर्चे पर सबसे ज्यादा नुकसान उठाना पड़ा है। वहीं, व्यापार के लिहाज से देखें तो भारत के लिए एक बात चिंताजनक है। जीटीआई के मुताबिक व्यापार को लेकर भारत की छवि दुनिया में विश्वास करने योग्य नहीं है। भारत उन देशों में शामिल है जिनके कारोबार को लेकर सबसे कम विश्वास रहता है. इनमें भारत के अलावा मैक्सिको, ब्राजील और चीन शामिल हैं।

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