बीते 19 जून को वाराणसी में यूपी बीजेपी अध्यक्ष महेंद्र नाथ पाण्डेय ने अपने ही सहयोगी दल सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी के कैलाशनाथ सोनकर के खिलाफ जुबानी आग उगली। वाराणसी में एक कार्यक्रम के दौरान यूपी के बीजेपी अध्यक्ष महेंद्र नाथ पाण्डेय ने अजगरा से सुहेलदेव समाज पार्टी के विधायक कैलाशनाथ सोनकर को चोर बताया। इस दौरान महेंद्र नाथ पाण्डेय के साथ डिप्टी सीएम दिनेश शर्मा भी थे। महेंद्र नाथ पाण्डेय ने जब अजगरा के विधायक कैलाशनाथ सोनकर को चोर की संज्ञा दी तो वहां मौजूद डिप्टी सीएम सहित तमाम नेता मुस्कुराते दिखे।

अपनी पार्टी के विधायक कैलाश सोनकर के बारे में ऐसा सुनकर भला सुहेलदेव पार्टी के अध्यक्ष और योगी सरकार में मंत्री ओम प्रकाश राजभर कैसे रहते सो उन्होंने भी जवाब दिया। लेकिन इस बार उनकी जुबानी तल्खी गायब दिखी। खुद को थोड़ा उदार बनने की कोशिश की। यूपी बीजेपी के मुखिया महेंद्र नाथ पाण्डेय को विद्वान बताकर उन पर तंज कसे कहा ‘उन्हें तो और बोलना चाहिये था।’

पूरा मामला जानने के लिए अब आप ये तस्वीरें देखिये। दिख रही तख्तियों पर लिखा है, ‘कैलाश नाथ घूसखोर है।’ अजगरा विधायक कैलाश नाथ सोनकर पर वाराणसी के 45 सौ के करीब बुनकरों को लोन के नाम पर 600 करोड़ का चूना लगाने का आरोप लगाते हुए सीबीआई जांच की मांग की थी। इसी को लेकर यूपी बीजेपी अध्यक्ष महेंद्र नाथ पाण्डेय ने सोनकर पर हमला किया था। वहीं कैलाशनाथ के बचाव में मंत्री ओमप्रकाश राजभर कूद गए। कहा, ये तो बदनाम करने की साजिश है।

मंत्री ओम प्रकाश राजभर ने लगे हाथों बीजेपी को अपनी सियासी अहमियत समझाने की कोशिश की। कहा कि, लखनऊ और दिल्ली के कुछ नेताओं की जानवरों से तुलना कर दी। कहा कुछ ऐसे जीव है जो MLA-MP बनने के लिए कुछ भी कर सकते हैं। वह तो सभी विपक्षियों से मिलते रहते हैं और कौन कहां जा रहा है सबों को पता है। वह खुद बीएसपी सुप्रीमो मायावती से भी तीन बार एयरपोर्ट पर मिल चुके हैं।

बीजेपी और उसकी सहयोगी सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी के संबंध दिनोंदिन खराब हो रहे हैं.। ऐसे में ये दोस्ता कब तक चलेगी, इसका अंदाजा लगाना मुश्किल नहीं है। वैसे बीजेपी नेता ही बेहतर जानते हैं कि, ओम प्रकाश राजभर की बहकती जुबान को वो कब तक अपने  सियासी  नफा-नुकसान के बीच झेलने का माद्दा रखते हैं।

                                                                                                                        एपीएन ब्यूरो

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