अमित शाह के हालिया झारखंड दौरे का असर जल्द ही झारखंड में सरकार और पार्टी संगठन पर दिख सकता है। पार्टी में बड़े उलटफेर के संकेत मिल रहे हैं। पार्टी आलाकमान ने प्रदेश अध्यक्ष लक्ष्मण गिलुवा को इसका संदेश दे दिया है। माना जा रहा है कि उनकी कुर्सी जा सकती है। पार्टी के अंदर इस पर मंथन शुरु हो गया है। माना जा रहा है कि प्रदेश संगठन के कुछ पदाधिकारियों की छुट्टी हो सकती है। उनकी जगह नये और युवा चेहरों को जगह मिल सकती है। जानकारी के अनुसार दो उपाध्यक्ष बदले जा सकते हैं और महामंत्री पद पर भी बदलाव होना तया है। कुछ मंत्रियों की भी कुर्सी जा सकती है। प्रवक्ता की सूची में भी एक नाम शामिल हो सकता है। संगठन में अध्यक्ष के अलावा 7 उपाध्यक्ष, 3 महामंत्री, 5 मंत्री हो सकते हैं। प्रवक्ता की कोई निश्चित संख्या नहीं है।

जानकारी के अनुसार कुछ लोगों को प्रोमोट किया जा सकता है। जिन्हें सरकार के किसी अंग में पद मिला है उनकी भी संगठन से छुट्टी हो सकती है। इसके अलावा संथाल परगना और उत्तरी छोटानागपुर प्रमंडल के 6 जिलाध्यक्षों को भी बदला जा सकता है। इनमें उत्तरी छोटानागपुर के दो जिलों के जिलाध्यक्ष शामिल हैं। संगठन महामंत्री धर्मपाल सिंह, प्रदेश अध्यक्ष और मुख्यमंत्री के बीच इस विषय पर लगभग सहमति बन गई है। जल्द ही इसकी घोषणा संभव है।

मिशन 2019 के लिए संगठन को मजबूत बनाना है। इसके तहत ऐसे  लोगों को पद से हटाने की तैयारी है जिनका परफॉरमेंस ठीक नहीं है या फिर किसी विवाद से जुड़े हैं। बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह का साफ निर्देश है कि पार्टी में परफार्मर को महत्वपूर्ण दायित्व दिया जाना चाहिए। जो किसी विवाद में है उन्हें छानबीन कर हटा दिया जाए। इसका जिम्मा संगठन महामंत्री और एक प्रदेश महामंत्री को दिया गया है। एक प्रकार से संगठन को पुनर्गठित किया जाना है। कुछ मोर्चा के पदाधिकारियों में भी फेरबदल हो सकता है। प्रदेश से लेकर जिला स्तर तक फिल्टर करने की कोशिश हो रही है। अभी एक पखवाड़ा पूर्व लोकसभा क्षेत्र के प्रभारियों की नियुक्ति कर दी गई है।

 

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