अमेरिका में रह रहे भारतीय मूल के 7000 नागरिकों को एक बड़ा झटका लग सकता है। अमेरीकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप डीसीए यानी ‘डेफर्ड एक्शन फॉर चिल्ड्रन एराइवल’ योजना को खत्म करने की तैयारी में हैं जिसे  ‘ड्रीमर’ योजना के नाम से भी जाना जाता है। डीएसीए अमेरिका में अप्रवासियों को वर्क परमिट प्रदान करता है।

पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा ने बचपन से ही अवैध रूप से अमेरिका में दाखिल हुए बच्चों को प्रत्यर्पण से बचाने के लिए यह योजना लाए थे। अमेरिकी पत्रिका ‘पॉलिटिको’ की एक रिपोर्ट में दावा किया गया है कि ट्रंप योजना को रद्द कर चुके हैं। वहीं, ‘द न्यूयॉर्क टाइम्स’ का कहना है कि प्रवासी कार्यक्रम को खत्म करने से पहले राष्ट्रपति ने कांग्रेस (अमेरिकी संसद) को छह महीने का वक्त दिया है, ताकि इसको लेकर नए सिरे से नियम-कायदे तय किए जा सकें। डीएसीए के तहत तकरीबन आठ लाख लोगों को प्रत्यर्पण से सुरक्षा प्राप्त है।

प्रतिनिधि सभा के अध्यक्ष और सत्तारूढ़ रिपब्लिकन पार्टी के वरिष्ठ नेता पॉल रेयॉन ने एक साक्षात्कार में कहा, ‘ट्रंप को डीएसीए को निरस्त नहीं करना चाहिए क्योंकि ये बच्चे अमेरिका छोड़ किसी और देश को नहीं जानते। मेरी समझ में वह ऐसा नहीं करेंगे। यह ऐसा मसला है जिसे कांग्रेस को तय करना चाहिए।’ डेमोक्रेटिक पार्टी की नैंसी पेलोसी ने डोनाल्ड ट्रंप की योजना की आलोचना करते हुए कहा कि देशभक्त और साहसी युवाओं को प्रत्यर्पित करना देश और अर्थव्यवस्था के लिए विनाशकारी होगा।

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