कांग्रेस ने केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) के निदेशक आलोक कुमार वर्मा को जबरदस्ती छुट्टी पर भेजने को एक साजिश करार देते हुए कहा है कि वर्मा अगली सुबह लड़ाकू विमान राफेल सौदे के संबंध में एक बड़ा फैसला करने वाले थे। कांग्रेस के मीडिया प्रभारी रणदीप सिंह सुरजेवाला ने शनिवार को यहां पार्टी मुख्यालय में एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि वर्मा को छुट्टी पर भेजने का मोदी सरकार का फैसला वास्तव में एक बड़ी साजिश है। उन्होंने कहा कि भारतीय जनता पार्टी सरकार में ही मंत्री रह चुके यशवंत सिन्हा तथा अरुण शौरी और जाने माने अधिवक्ता प्रशांत भूषण ने राफेल सौदे को लेकर सीबीआई  में शिकायत की थी और सीबीआई निदेशक से मिले थे।

कांग्रेस नेता ने कहा कि 24 अक्टूबर को श्री वर्मा को इस शिकायत पर फैसला करना था जो निश्चित रूप से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के लिये घातक होता। इसी को टालने के लिये वर्मा को पद से हटाने के लिये प्रधानमंत्री, प्रधानमंत्री कार्यालय, कार्मिक विभाग तथा केंद्रीय सतर्कता आयोग ने साजिश रची जिसे रातों रात अंजाम दिया गया।

उन्होंने दावा किया कि 23 अक्टूबर की रात सीवीसी तथा अन्य दो अधिकारी सीबीआई मुख्यालय आये थे और कुछ कागजात लेकर निकल गये। उन्होंने कहा कि सीवीसी को सीबीआई मुख्यालय जाने के आदेश किसने दिये थे।

सुरजेवाला ने कहा कि साजिश के सभी पक्षों ने संविधान के दायरे से बाहर जाकर आदेश दिये और कार्रवाई की। उन्होंने कहा कि सीबीआई के निदेशक को छुट्टी पर भेजने की सीवीसी की सिफारिश उसके अधिकार क्षेत्र से बाहर है। उन्होंने सवाल उठाया कि कार्मिक विभाग, दिल्ली पुलिस, केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल, सीवीसी और सीबीआई के कुछ अधिकारी आधी रात के बाद से किसके इशारे पर काम कर रहे थे। इसकी पूरी तरह से जांच होनी चाहिए।

इस अवसर पर मौजूद महासचिव अशोक गहलोत ने कहा कि मौजूदा सरकार सभी संवैधानिक तथा स्वायत्त संस्थाओं को रौंद रही है। इन संस्थाओं का दुरूपयोग किया जा रहा है। सीबीआई इसका ताजा उदाहरण है।

सुरजेवाला ने 23 अक्टूबर की रात के पूरे घटनाक्रम का ब्यौरा देते हुए कहा कि पूरी साजिश पहले से तय थी और प्रत्येक अधिकारी अपनी जगह पर मौजूद था। आखिर यह कैसे संभव है कि आधी रात के बाद तक सभी कार्यालय खुले रहे हो। यहां तक कि दिल्ली पुलिस को सीबीआई के मुख्यालय को अपने कब्जे में लेने को कहा गया।

                                                                                                              –साभार,ईएनसी टाईम्स

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