पाकिस्तान के सिंध कोर्ट ने अमेरिकी पत्रकार डेनियल पर्ल के हत्यारों को आजाद कर दिया है। वॉल स्ट्रीट जर्नल के दक्षिण एशिया ब्यूरो चीफ पर्ल जनवरी 2002 में गायब हो गए थे। कुछ समय बाद पता चला कि उन्हें पाकिस्तानी आतंकवादियों ने अगवा कर लिया। आतंकियों ने पर्ल का सर कलम कर दिया था। हत्या 2002 में हुई थी।

सिंध हाई कोर्ट के इस फैसले से अमेरिका ने नाराजगी जाहिर कि है। अमेरिकी विदेश मंत्रालय के साउथ ऐंड सेंट्रल एशियन अफेयर्स ब्यूरो ने ट्वीट में लिखा है, ‘सिंध हाई कोर्ट ने 24 दिसंबर को पत्रकार डेनियल पर्ल की हत्या के आरोपियों को रिहा करने के आदेश हम बेहद चिंतित हैं। हमें यह आश्वासन दिया गया था कि इस बार आरोपियों को रिहा नहीं किया जाएगा। हम समझते हैं कि यह मामला चल रहा है और इसकी जांच बारीकी से की जाएगी। हम इस मुश्किल प्रक्रिया के समय पर्ल के परिवार के साथ खड़े हैं। हम एक साहसी पत्रकार के रूप में डेनियल पर्ल का हमेशा सम्मान करेंगे।’

गुरुवार को सिंध हाई कोर्ट ने मामले के आरोपी आतंकी अहमद उमर, सईद शेख, फहाद नसीम, शेख आदिल और सलमान साकिब को रिहा करने के आदेश दिए हैं।  आरोपियों को पहले फांसी की सजा सुनाई गई थी।

डेली पाकिस्तान के मुताबिक, सिंध हाई कोर्ट ने आरोपी अहमद उमर शेख और अन्य के नाम एग्जिट कंट्रोल लिस्ट में डालने का भी आदेश दिया है। ये आरोपी बीते 18 सालों से जेल में थे। अब कोर्ट ने यह भी आदेश दिया है कि आरोपियों को कोर्ट के समन पर पेश होना पड़ेगा। 

गौरतलब है कि,  साल 2002 में वॉल स्ट्रीट जर्नल के साउथ एशिया ब्यूरो में काम करने वाले 38 वर्षीय डेनियल पर्ल को आतंकियों ने अगवा कर लिया था। पर्ल अल-कायदा से जुड़े आतंकी गुटों को लेकर एक खोजी रिपोर्ट कर रहे थे लेकिन उन्हें अगवा करने के बाद उनका सिर कलम कर हत्या कर दी गई थी। 

एक महीने के बाद कराची में अमेरिकी वाणिज्य दूतावास को 38 साल के पर्ल की हत्या का वीडियो भेजा गया था।

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