नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (एनजीटी) ने वैष्णो देवी  के दर्शन करने जाने वाले भक्तों  को लेकर एक जरुरी निर्देश जारी किया है। इस निर्देश के मुताबिक, हर रोज सिर्फ 50 हजार श्रद्धालु ही वैष्णो देवी मंदिर के दर्शन के लिए जा सकेंगे। बाकि सभी को कटरा या अर्धकुंवारी में ही रोक दिया जायेगा। इस आदेश को सोमवार से लागू कर दिया जायेगा।

आपको बता दें कि वैष्णो देवी के दर्शन के लिए जाने वाले श्रद्धालुओं की बढ़ती संख्या को देखते हुए एनजीटी ने यह अहम कदम उठाया है। तो वहीं इस आदेश के पीछे सबसे बड़ी वजह लोगों की सुरक्षा भी है। वैष्णो देवी मंदिर में 50 हजार से ज्यादा लोगों का जाना खतरनाक हो सकता है। इस बात को ध्यान में रखते हुए एनजीटी ने यह आदेश लागू किया है।

कहा जा रहा है कि एनजीटी ने पर्यावरण संरक्षण के लिहाज से इस दिशा में फैसला लिया है। बता दें कि एनजीटी के इस फैसले का असर सबसे ज्यादा नवरात्र के समय में देखने को मिलेगा। नवरात्र के समय हर साल औसतन 50-60 हजार श्रद्धालु प्रतिदिन माता वैष्णो देवी के दर्शन के लिए पहुंचते हैं। ऐसे में कहा जा सकता है कि श्रद्धालुओं की संख्या सीमित करने के साथ यात्रियों के ठहरने के लिए भी पुख्ता इंतजाम करना श्राइन बोर्ड के लिए चुनौती भरा काम होगा।

दिल्ली-एनसीआर में पिछले पिछले कई दिनों से बढ़े प्रदूषण पर सुनवाई के दौरान एनजीटी ने ये बातें कहीं। एनजीटी ने कहा कि जम्मू-कश्मीर स्थित वैष्णो देवी की यात्रा करने वाले यात्रियों की संख्या सीमित कर दी गई है और श्रद्धालुओं की संख्या 50 हजार से ज्यादा होने पर उन्हें अर्धकुंवारी या कटरा में ही रोक दिया जाएगा।

इसके साथ-साथ एनजीटी ने इलाके में बढ़ते प्रदूषण को देखते हुए मंदिर परिसर में किसी भी निर्माण कार्य पर भी रोक लगा दी है। हालांकि कंस्ट्रक्शन पर किसी तरह की कोई रोक नहीं लगाई गई है। बता दें कि वैष्णों देवी में कई बार लैंड स्लाइडिंग के चलते घटना हो जाती है। एनजीटी द्वारा लगाई गई रोक कब तक रहेगी इस बात की अभी कोई जानकारी नहीं है।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here