प्रकृति का प्रकोप जब पड़ता है तो कई जिंदगियां तबाह हो जाती है। ऐसे ही देश के कई राज्यों में भी देखने को मिला जहां तेज आंधी-तूफान के चलते कई लोगों की मौत हो गई और पूरा जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया। मई का महीना लोगों के लिए भूचाल बन कर आया। दोपहर की तपती धूप और शाम को चलती तेज आंधी ने लोगों का जीना हराम कर दिया है। बता दें कि  बुधवार को भी देश के कई इलाकों में वेस्टर्न डिस्टर्बेंस की वजह से जमकर आंधी, तूफान, बारिश और ओले गिरे। देश के कई हिस्सों में बेमौसम तूफान ने जमकर तबाही मचाई लेकिन बेरहम मौसम की सबसे ज्यादा मार पड़ी उत्तर प्रदेश के जिलों में।  पिछले दस दिनों में ऐसा तीसरी बार है जब आंधी तूफान ने प्रदेश में तबाही और बर्बादी मचाई है।

वहीं मध्य प्रदेश और राजस्थान जैसे राज्यों में भी मौसम की मार ऐसी पड़ी कि लोग त्राहिमाम्-त्राहिमाम् चिल्लाने लगे। सबसे ज्यादा हालात यूपी की बिगड़ी। अलीगढ़ में धूल भरी आंधी के बाद तेज बारिश हुई। साथ ही यूपी के अन्य शहरों आगरा, फिरोजाबाद, एटा और कासगंज में भी आंधी आई और तेज बारिश हुई। एटा के जलेसर में बारिश के साथ ओले पड़े। ब्रज में एक बार फिर बवंडर का कहर बरपा। बुधवार की देर शाम करीब आधे घंटे तक आई आंधी, बारिश और ओलावृष्टि में यहां 9 लोगों की मौत हो गई। इनमें मथुरा में 3, आगरा और अलीगढ़ में 2-2, हाथरस, फिरोजाबाद और एटा में एक-एक मौत हुई है। इसके अलावा करीब दो दर्जन लोग घायल बताए जा रहे हैं।

आगरा में तेज आंधी आई और आसपास के कई गांव तूफान की ज़द में आ गए जिसमें आगरा के गांव रहनकला नथोली में एक पैंतीस साल के शख्स की मौत हो गई। वहीं उन्नाव में देर रात आये तेज आंधी तूफान से पुरवा इलाके के गांव के खेतों में आग लग गयी। जिला प्रशासन ने मौसम विभाग द्वारा जारी किए गए अलर्ट के बाद कई जगहों पर आज भी स्कूल और कॉलेज बन्द रखने के दिये थे आदेश दिये हैं। उत्तर प्रदेश में महातूफान का खतरा अभी टला नहीं है।

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