केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) और आंध्र प्रदेश सरकार के बीच गतिरोध बढ़ता दिख रहा है। दरअसल सीबीआई ने आंध्र प्रदेश सरकार पर कुछ भ्रष्ट अधिकारियों को पकड़ने के लिए जाल बिछाने की खुफिया जानकारी लीक करने का आरोप लगाया है। सीबीआई ने कहा कि इस वजह से बस एक शख्स पकड़ में आया, जबकि अन्य फरार हो गए। राज्य के भ्रष्टाचार रोधी ब्यूरो के गलत कदम की वजह से केंद्र सरकार के भ्रष्ट अधिकारियों को पकड़ने की योजना नाकाम होने पर नाराज सीबीआई ने कहा कि उसने आंध्र प्रदेश के गृह विभाग से सूचनाओं को पूरी तरह से गोपनीय रखने को कहा था।

केंद्रीय एजेंसी और राज्य सरकार के बीच गतिरोध उस समय सार्वजनिक हो गया था, जब एसीबी ने शुक्रवार को मछलीपट्टनम जिले में कथित रूप से रिश्वत लेते हुए केंद्रीय सीमाशुल्क के एक अधिकारी को गिरफ्तार करने का दावा किया थाष। वहीं सीबीआई के प्रवक्ता अभिषेक दयाल ने कहा, ‘सीबीआई ने भ्रष्ट परंपराओं में संदिग्ध रूप से शामिल केंद्र सरकार के कुछ कर्मचारियों को पकड़ने के लिए जाल बिछाने को लेकर राज्य सरकार की मंजूरी मांगी थी।’ उन्होंने कहा कि राज्य के गृह विभाग से सूचना गोपनीय रखने को कहा गया था, लेकिन विभाग ने अपने एसीबी से यह सूचना साझा की।

सीबीआई के एक अधिकारी ने कहा कि आंध्र प्रदेश के भ्रष्टाचार रोधी ब्यूरो के अभियान के कारण केवल एक संदिग्ध की गिरफ्तारी हुई, जबकि कई अन्य संभावित व्यक्ति गिरफ्तारी से बच निकलने में कामयाब रहा। बता दें, कि आंध्र सरकार ने पिछले दिनों आदेश जारी किया था कि सीबीआई टीम को किसी भी मामले की जांच के लिए वहां जाने से पहले राज्य सरकार की इजाजत लेनी होगी। चंद्रबाबू नायडू सरकार के इस बयान के बाद आंध्र और केंद्र के बीच टकराव का एक नया मुद्दा खड़ा हो गया है।

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