झारखंड के औद्योगिक शहर धनबाद में बुधवार की सुबह एक ऐसी घटना हुई है जिसने सभी को झकझोर दिया है। मॉर्निंग वॉक पर निकले धनबाद के जज को एक ऑटो ने टक्कर मार दी। उनकी जगह पर ही मौत हो गई।

छह महीने पहले ही धनबाद के न्यायाधीश बने उत्तम आनंद सुबह 5 बजे सूनसान सड़क पर एक दम कीनारे टहल रहे थे। अचनाक से एक ऑटो आता है सीधे न जाकर उन्हें टक्कर मार कर फरारा हो जाता है।

इस खबर के बाहर आने के बाद आम से खास लोग सदमे में हैं। कहा जा रहा है कि जब एक जज की इस तरह से ह्त्या हो सकती है तो आम जनता कैसे सुरक्षित हैं।

पहले तो इसे महज एक संजोग समझा जा रहा था कि जज का एक्सीडेंट हो गया है लेकिन सीसीटीवी फुटेज ने सारी पोल खोल दी है। फुटेज सामने आने के बाद पता चल रहा है कि यह एक एक्सीडेंट नहीं बल्कि साजिश के तहत जज को मौत के घाट उतारा गया है।

सीसीटीवी फुटेज में दिखाई दे रहा है कि न्यायाधीश उत्तम आनंद सड़क के बाईं ओर जॉगिंग करते हुए आगे बढ़े जा रहे हैं। ठीक उसी वक्त उनके पीछे एक ऑटो आता है, जिसके ड्राइवर सीट पर दो लोग बैठे नजर आ रहे है। ऑटो अचानक सड़क पर हल्की बाईं ओर मुड़ता है, और सड़क किनारे जॉगिंग कर रहे न्यायाधीश की ओर बढ़ता है और उन्हें पीछे से जोरदार टक्कर मार कर सीधे सड़क पा आगे बढ़ जाता है। इस टक्कर के बाद जज उत्तम आनंद सड़क के किनारे उछल कर कुछ दूर जा गिरते हैं।

धीरे धीरे साजिश से पर्दा उठने लगा है। साफ होता जा रहा है कि जज उत्तम आनंद को प्लान के तहत मौत के घाट उतारा गया है। अब इस मामले में ताजा तथ्य यह सामने आया है कि जज को टक्कर मारने के लिए जिस ऑटो का प्रयोग हुआ वह पाथरडीह की रहने वाली सुगनी देवी का है। सुगनी के अनुसार उसका ऑटो चोरी हो गया था। इसी ऑटो से जज को टक्कर मारी गई।

न्यायाधीश उत्तम आनंद चर्चित रंजय सिंह हत्याकांड की सुनवाई कर रहे थे। रंजय सिंह धनबाद के बाहुबली नेता और झरिया के पूर्व विधायक संजीव सिंह के काफी करीबी माने जाते थे। कुछ दिन पहले ही न्यायाधीश उत्तम आनंद ने शूटर अभिनव सिंह और अमन के गुर्गे रवि ठाकुर की जमानत याचिका खारिज कर दी थी।

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