राम मंदिर पर अध्यादेश के मुद्दे पर पीएम मोदी का बड़ा बयान सामने आया है। एएनआई को दिए इंटरव्यू में उन्होंने कहा कि जब राम मंदिर मामले में कानूनी प्रकिया पूरी हो जाएगी, उसके बाद ही अध्यादेश पर विचार किया जा सकता है।

पीएम ने कहा, ‘सुप्रीम कोर्ट में यह मामला थोड़ा धीमा है क्योंकि कांग्रेस के वकील खलल पैदा कर रहे हैं. बीजेपी के घोषणा-पत्र में भी कहा गया है कि इस मुद्दे का हल संविधान के दायरे में रहकर ही निकल सकता है।’

पीएम ने कहा कि अदालती प्रक्रिया खत्म होने दीजिए। जब यह खत्म हो जाएगी, उसके बाद बतौर सरकार हमारी जो भी जवाबदारी होगी, हम उस दिशा में सारी कोशिशें करेंगे। पीएम ने यह भी कहा कि अगला लोकसभा चुनाव जनता बनाम महागठबंधन होगा। मोदी तो केवल जनता के प्यार और आशीर्वाद का नाम है।

पीएम ने कहा कि 70 सालों तक सत्ता में रहने वाले लोगों ने अयोध्या का हल निकालने के रास्ते में कई व्यवधान पैदा करने की कोशिश की। इसलिए कांग्रेस से मेरा अनुरोध है कि उन्हें अपने वकीलों को देश की शांति को ध्यान में रखते हुए अयोध्या विवाद में खलल डालने से रोकना चाहिए. इस मुद्दे को राजनीतिक तराजू में नहीं तौलना चाहिए। कानूनी प्रक्रिया को अपना रास्ता तय करने देना चाहिए।

नए साल के पहले दिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने इंटरव्यू कई मुद्दों पर खुलकर बात की। इसमें राम मंदिर पर अध्यादेश लाने, सर्जिकल स्ट्राइक और हाल ही में इस्तीफा देने वाले RBI के गवर्नर उर्जित पटेल का मुद्दा भी शामिल है।

उर्जित पटेल के इस्तीफा देने के बाद यह खबरें आई थीं कि RBI के सरप्लस फंड को लेकर केंद्र के साथ मनमुटाव की वजह से पटेल ने पद छोड़ दिया। इस पर मोदी ने कहा, उर्जित पटेल ने अपने निजी कारणों की वजह से इस्तीफा दिया था।

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