प्रद्यूमन मर्डर केस में आरोपी कंडक्टर अशोक को गुड़गांव डिस्ट्रिक्ट कोर्ट से जमानत मिल गई है। अदालत के आदेश के बाद कंडक्‍टर अशोक तीन महीने बाद जेल से बाहर आएगा। वहीं रेयान स्कूल के प्रबंधक समूह पिंटो परिवार को भी कोर्ट से जमानत मिल गई है।

इससे पहले सुनवाई करते हुए अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश रजनी यादव ने सुनवाई करते हुए दोनों पक्षों के वकीलों की दलीलें सुनीं। जमानत याचिका का विरोध करते हुए सीबीआई के वकील ने  जमानत रद्द करने के पक्ष में दलीलें दीं। वकील ने कहा कि अपराध में कंडक्टर की भूमिका का अब तक पता नहीं चला है, लेकिन उन्हें क्लीन चिट देने पर फैसला वैज्ञानिक रिपोर्ट आने के बाद ही किया जा सकता है। लेकिन अशोक के वकील के दलीलों को देखते हुए कोर्ट ने आरोपी को जमानत दे दी।

अशोक के वकील मोहित वर्मा ने दलील दी थी कि उनके मुवक्किल को फंसाया जा रहा है, क्योंकि अशोक के पास से कुछ भी बरामद नहीं हुआ है। इसके अलावा सीबीआई इस मामले में रेयान स्कूल के एक छात्र को गिरफ्तार कर चुकी है, तो अशोक की गिरफ्तारी का कोई औचित्य ही नहीं बचता। इसके बाद कोर्ट ने सोमवार को सुनवाई पूरी होने के बाद फैसले को सुरक्षित रख लिया था। आज गुरुग्राम के जिला कोर्ट ने इस पर फैसला सुनाते हुए 50 हजार रुपये के निजी मुचलके पर अशोक को जमानत दे दी।

जमानत मिलने पर प्रद्युम्न के पिता ने कहा कि वह कोर्ट के फैसले का सम्मान करते हैं। वहीं अशोक के पिता अमीचंद ने कोर्ट के फैसले पर खुशी जताई है।

इसके साथ ही पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट ने रेयान स्कूल के मालिकों पिंटो फैमिली को भी सशर्त जमानत दे दी। इससे पहले भी हाईकोर्ट ने पिंटो फैमिली को अंतरिम जमानत अपील पर फौरी राहत दे दी थी। लेकिन  इसे प्रद्युम्न के पिता ने सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी थी।

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