पिछली बार की आर्टस टॉपर रूबी रॉय के फर्जीवाड़े की खबर सुनकर लोग जहां चकित थे वहीं इस बार के बिहार टॉपर के बारे में सुन कर शायद लोगों का परीक्षाओं की व्यवस्थाओं से भरोसा ही उठ जाए। बिहार बोर्ड के आर्ट्स टॉपर गणेश कुमार को लेकर एक और खुलासा हुआ है।

गणेश गिरीडीह के फाइनेंस कंपनी के हजारों रुपये लेकर 2013 में गायब हो गया और बिहार के समस्तीपुर चला गया। साथ ही गणेश की यह बात भी अब सामने आ गई है कि गणेश कुमार ने 1990 में ही मैट्रिक की परीक्षा पास कर ली थी और उसके बाद 1992 में इंटरमीडिएट की परीक्षा पास की। यह दोनों परीक्षाएं गणेश ने गिरिडीह में रहते हुए पास की जो कि अब झारखंड में है।

पुलिस के गिरफ्त में आ चुका बिहार के टॉपर की उम्र जहां लोग 24 समझ रहे थे, असलियत में उसकी उम्र 42 है। गणेश 1975 में पैदा हुआ और उसने 1992 में ही इंटरमीडिएट की परीक्षा पास कर ली थी। गणेश की 2013 में उम्र 38 हो चुकी थी और वह जानता था कि उम्र के इस पड़ाव पर उसे सरकारी नौकरी मिलने में कठिनाई होगी इसीलिए उसने अपने उम्र को कम करने के लिए फर्जी जन्म प्रमाणपत्र बनाने और फिर से मैट्रिक और इंटरमीडिएट की परीक्षा देने का सोचा।

गणेश इस दौरान समस्तीपुर के लक्ष्मीनिया गांव के संजय कुमार के संपर्क में आया जो शिक्षा दलाल है और फर्जी दस्तावेज बनाता है। संजय की मदद से गणेश ने अपना फर्जी जन्म प्रमाण पत्र बनवाया जिसमें उसने अपनी जन्म तिथि 2 जून 1993 दिखाई। इसी फर्जी जन्म प्रमाणपत्र के सहारे गणेश ने लक्ष्मीनिया गांव के संजय गांधी हाई स्कूल में दाखिला ले लिया और फिर वहीं से 2015 में मैट्रिक की परीक्षा पास की।

फर्जी जन्म प्रमाणपत्र के आधार पर इंटर कॉलेज में दाखिला देने के लिए बिहार बोर्ड ने राम नंदन सिंह जगदीश नारायण इंटर कॉलेज और हाईस्कूल में दाखिला देने वाले स्कूल संजय गांधी हाई स्कूल की भी मान्यता रद्द कर दी है। साथ ही दोनों ही स्कूल के संचालकों को गिरफ्तार करने के लिए पुलिस संचालकों का पता लगा रही है।

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