Punjab Election 2022: पंजाब में होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए सभी राजनीतिक दल अपना-अपना समीकरण बिठाने की जुगत में लगे हैं। कभी एनडीए के पाले में रहने वाली अकाली दल ने इस बार बीजेपी और कांग्रेस को मात देने के लिए बहुजन समाज पार्टी के साथ गठजोड़ का ऐलान किया है।
पंजाब में इस बार सरकार बनाने के लिए अकाली दल दो उप मुख्यमंत्री के फॉर्मूले पर चल रही है। इस रणनीति के बारे में बात करते हुए शिरोमणि अकाली दल के चीफ सुखबीर सिंह बादल ने शनिवार को बड़ा ऐलान किया है। उन्होंने कहा कि सूबे में शिरोमणी दल-बसपा गठबंधन की सरकार बनने पर दो उप मुख्यमंत्रियों में से एक मायावती की अगुवाई वाली बसपा से होगा।
अकाली-बसपा क्रमशः 97 और 20 सीटों पर चुनाव लड़ेंगे
समझौते के तहत शिरोमणी दल और बसपा सूबे की 117 विधानसभा सीटों पर क्रमशः 97 और 20 सीटों पर अपने प्रत्याशी उतारेंगे। सुखबीर सिंह बादल बसपा के साथ गठबंधन कर राज्य के अनुसूचित वर्ग के वोट को साधने की कोशिश की है। इस चुनाव में शिरोमणी दल ने एक हिंदू और दूसरा एससी वर्ग से उपमुख्यमंत्री बनाने की घोषणा कर दी है।
गौरतलब है कि इस समय पंजाब की सियासत में उप-मुख्यमंत्रियों का चलन तेजी से बढ़ा है। कांग्रेस छोड़ चुके कैप्टन अमरिंदर सिंह के भाजपा के साथ जाने के कयास के बीच कांग्रेस भी उप मुख्यमंत्रियों के इसी जुगाड़ फॉर्मूले पर चल रही है। कांग्रेस ने पंजाब में अपनी कुछ महीने की बची सत्ता को बचाने के लिए मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी के साथ दो-दो उप मुख्यमंत्री लगाए हैं।
पंजाब में 24 साल बाद अकाली-भाजपा अलग-अलग लड़ेंगे चुनाव
मालूम हो कि साल 2022 के आगामी विधानसभा चुनाव में शिरोमणि अकाली दल दशकों बाद पहली बार भाजपा के बिना और उसके खिलाफ चुनाव मैदान में उतर रही है। मोदी सरकार में शामिल रही अकाली दल ने तीनों कृषि कानूनों के विरोध में अपने 24 साल पुराने राजनीतिक सहयोगी भाजपा से गठबंधन तोड़ लिया था। जिसके कारण खाद्य प्रसंसकरण मंत्री हरसीमरत कौर को मोदी सरकार से इस्तीफा देना पड़ा था।
एनडीए से अलग होने के बाद शिरोमणी अकाली दल के प्रमुख सुखबीर सिंह बादल ने आगामी विधानसभा चुनाव के लिए बहुजन समाज पार्टी के साथ गठबंधन करने की घोषणा की थी। वहीं अगर बहुजन समाज पार्टी की बात करें तो पंजाब चुनाव के साथ यूपी में होने वाले 2022 के विधानसभा चुनाव के मद्देनजर व्यापक तैयारी कर रही है। बसपा प्रमुख मायावती यूपी के हर जिले की समीक्षा बैठकें कर रही हैं और भाजपा, सपा के साथ-साथ कांग्रेस को मात देने के लिए रणनीति बनाने में लगी हुई हैं।
इसे भी पढ़ें: गृहमंत्री Amit Shah ने दिया संकेत, Punjab चुनाव में अकाली दल की जगह कैप्टन Amarinder Singh के साथ जा सकती है BJP