Prashant Kishor: प्रियंका गांधी वाड्रा ने एक समाचार चैनल के साथ इंटरव्यू में इस बात को स्वीकार किया कि चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर (Prashant Kishor) पिछले साल कांग्रेस में शामिल होने वाले थे, लेकिन बात नहीं बन पाई। कांग्रेस नेता ने बताया कि कांग्रेस और प्रशांत किशोर के बीच साझेदारी “कई” कारणों से नहीं हो पाई।
Prashant Kishor क्यों कांग्रेस में नहीं हुए शामिल?

प्रियंका गांधी ने कहा,”मुझे लगता है कि यह कई कारणों से काम नहीं कर सका। कुछ उनकी ओर से, कुछ हमारी ओर से। मैं उसकी डिटेल में नहीं जाना चाहती। मोटे तौर पर कुछ मुद्दों पर सहमति नहीं बनी थी, जिसके बाद बात आगे नहीं बढ़ सकी।” प्रियंका ने इस बात से इनकार किया कि कांग्रेस किसी बाहरी व्यक्ति को पार्टी में लाना नहीं चाहती है।

उन्होंने कहा, “अगर ऐसा होता, तो इतनी चर्चाएं नहीं होतीं।” याद हो कि प्रशांत किशोर ने पिछले साल सोनिया गांधी, राहुल गांधी और प्रियंका गांधी, के साथ कई दौर की चर्चा की थी। कहा जाता है कि कांग्रेस में वे शामिल ही होने वाले थे।

बातचीत बिगड़ने की खबरें मीडिया में तब आईं जब प्रशांत किशोर द्वारा पार्टी पर ट्वीट के जरिए तीखे हमले किए गए। पीके ने सार्वजनिक रूप से कहा कि कांग्रेस का नेतृत्व करना “किसी भी व्यक्ति का दैवीय अधिकार” नहीं है खासकर जब पार्टी 90 प्रतिशत से अधिक चुनाव हार गई हो।

पीके ने यह स्पष्ट कर दिया है कि उनका मानना है कि 2024 के आम चुनाव से पहले विपक्ष में कांग्रेस की भूमिका है, लेकिन वर्तमान नेतृत्व में नहीं।
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