गृहमंत्री Amit Shah ने दिया संकेत, Punjab चुनाव में अकाली दल की जगह कैप्टन Amarinder Singh के साथ जा सकती है BJP

0
526
Amit Shah & Amarinder Singh
Amit Shah & Amarinder Singh

गृहमंत्री Amit Shah ने पंजाब चुनाव के मद्देनजर इशारे-इशारे में कहा कि भारतीय जनता पार्टी अकाली दल की बजाय कैप्टन अमरिंद सिंह की नई पार्टी के साथ जाना ज्यादा पसंद करेगी। इसके अलावा अमित शाह ने कहा कि अकाली दल से अलग हुए सुखदेव सिंह ढींढसा के साथ ही बातचीत चल रही है।

इसका मतलब एक बात तो स्पष्ट है की पंजाब के आगामी चुनाव में दशकों से साथ रहे अकाली दल और भाजपा एक खेमे में नहीं बल्कि अलग-अलग ताल ठोंकते नजर आएंगे।

पीएम मोदी ने बड़ा दिल दिखाते हुए कृषि कानूनों को वापस ले लिया

हिंदुस्तान टाइम्स सम्मिट में बोलते हुए गृहमंत्री शाह ने इशारे-इशारे में पंजाब चुनाव की रणनीति पर बीजेपी की योजना का खुलासा किया। पंजाब में किसान आंदोलन से उपजे विरोध पर बात करते हुए अमित शाह ने कहा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बड़ा दिल दिखाते हुए कृषि कानूनों को वापस ले लिया है। जिसके बाद से पंजाब में बीजेपी को लेकर सकारात्मक माहौल दिखाई पड़ रहा है।

गृहमंत्री ने कहा कि कुछ हलकों में कहा जा रहा है कि पंजाब के किसान बीजेपी से नाराज हैं, लेकिन ऐसी कोई बात नहीं है। कृषि बिल वापसी के बाद से पंजाब के किसानों को अब किसी बात की नाराजगी नहीं है। बीजेपी पंजाब के आगामी विधानसभा चुनाव को लेकर जल्द ही एक मजबूत फ्रंट बनाने पर विचार कर रही है, जिसके लिए बीजेपी कैप्टन अमरिंदर सिंह के संपर्क में है और उनसे बातचीत चल रही है़।

बीजेपी पूरे जोश के साथ पंजाब का चुनाव लड़ेगी

अमित शाह ने कहा कि बीजेपी सुखदेव सिंह ढींढसा के साथ भी संपर्क में है। कुल मिलाकर बीजेपी पूरे जोश के साथ पंजाब का चुनाव लड़ेगी और उसके बाद सरकार भी बनाएंगी।

मालूम हो कि किसान बिल के विरोध में ही अकाली दल दशकों पुराने एनडीए गठबंधन से अलग हो गया था। मोदी सरकार में अकाली कोटे से केंद्रीय खाद्य एवं प्रसंस्करण मंत्री रहीं हरसिमरत कौर बादल ने विरोध स्वरूप मोदी मंत्रीमंडल से त्यागपत्र दे दिया था। जिसके बाद पंजाब में अकाली दल ने किसान बिल के मसले पर केंद्र की मोदी सरकार का जमकर विरोध किया था।

संसद के शीतकालीन सत्र में सरकार ने किसान बिल वापस लिया

हाल में किसानों के लगभग 1 साल चले लंबे संघर्ष के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने तीनों किसान कानूनों को वापस लेने की घोषणा की। संसद के इस शीतकालीन सत्र में सरकार ने संसद में किसान बिल वापस ले लिया।

जिसके बाद से किसान बिल पर किसानों के साथ चल रही तकरार के खत्म होनी की उम्मीद की जा रही थी लेकिन किसानों ने अन्य मुद्दों और आंदोलन के दौरान मारे गये 700 से अधिक किसानों के परिवार के मुआवजे के लिए आंदोलन को जारी रखने का फैसला किया है।

इस बात से सरकार परेशान है और पीएम मोदी समेत सरकार के तमाम बड़े मंत्री किसानों से घर वापसी की अपील कर चुके हैं लेकिन किसान अभी भी दिल्ली को घेर कर बैठे हुए हैं।

इसे भी पढ़ें: BJP National Executive Meeting 2021 में कई मुद्दों पर हुई चर्चा, पंजाब में सभी सीटों पर चुनाव लड़ेगी पार्टी