महाराष्ट्र के मंत्री Nawab Malik ने बंबई उच्च न्यायालय की खंडपीठ के समक्ष एक हलफनामा दिया है कि वह मुंबई एनसीबी के क्षेत्रीय निदेशक Sameer Wankhede के खिलाफ तब तक ट्वीट नहीं करेंगे जब तक कि अदालत 9 दिसंबर को मामले की सुनवाई नहीं कर लेती। नवाब मलिक ने यह हलफनामा तब दायर किया है जब अदालत ने नवाब मलिक को वानखेड़े के जाति प्रमाण पत्र को लेकर जाति जांच समिति से संपर्क नहीं करने बल्कि मीडिया में आरोप लगाने के लिए फटकार लगाई। गौरतलब है कि शाहरुख खान के बेटे आर्यन खान का नाम मुंबई ड्रग्स मामले में सामने आने के बाद से महाराष्ट्र सरकार में मंत्री Nawab Malik लगातार नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी) मुबंई के जोनल डायरेक्टर समीर वानखेड़े पर हमला बोल रहे हैं और उन्होंने वानखेड़े के जाति प्रमाण पत्र को भी फर्जी बताया था।
मां के दो डेथ सर्टिफिकेट बनवाने का आरोप
नवाब मलिक ने गुरूवार को ही सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ट्विटर पर एक डॉक्यूमेंट की फोटो शेयर करते हुए मुंबई एनसीबी अधिकारी समीर वानखेड़े पर निशाना साधा था। नवाब मलिक ने वानखेड़े पर आरोप लगाया था कि उन्होंने अपनी मां जाहिदा दाऊद वानखेड़े के दो अलग-अलग डेथ सर्टिफिकेट बनवाए हैं और उनके दोनों सर्टिफिकेट में अलग-अलग धर्म लिखा है। उन्होंने ट्वीट किया था, ”एक और फर्जीवाड़ा, अंतिम संस्कार के लिए मुसलमान और सरकारी दस्तावेज के लिए हिन्दू ? धन्य है Dawood Dnyandeo”
बता दें कि एनसीपी नेता Nawab Malik पिछले कई दिनों से समीर वानखेड़े और एनसीबी के ऊपर हमलावर हैं। उन्होंने क्रूज जहाज पर एनसीपी की छापेमारी को फर्जी बताया था। उन्होंने समीर वानखेड़े पर यह भी आरोप लगाया था उन्होंने साल 2006 में इस्लाम धर्म के अनुसार निकाह किया था।
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