Kerala News: दुनिया घूमने का सपना तो हर किसी का होता है। सभी प्लेन में घूमना पसंद करते हैं, लेकिन एक ऐसा शख्स जिसने अपने इस सपने को सच करने के लिए खुद ही एक प्लेन बना लिया है। ये बात जानकर आपको हैरानी जरूर हुई होगी। मगर ये एक दम सच है। लंदन में रह रहे केरल के मूल निवासी अशोक अलीसेरिल थामरक्षण ने अपने और परिवार के लिए प्लेन बना लिया है।
इतना ही नहीं शख्स अपने परिवार के साथ विमान में यूरोप की यात्रा भी कर ली है। अशोक को विमान बनाने में 18 महीने लगे, इसमें सीटों की सुविधा है। 4 सीटों वाले विमान मॉडल “स्लिंग टीएसआई” का नाम “जी दिया” रखा गया है। दिया अशोक की छोटी बेटी का नाम है जिसके नाम पर प्लेन का नाम रखा गया है।
Kerala News: लॉकडाउन के दौरान आया आइडिया
कोविड -19 लॉकडाउन के दौरान से ही लंदन में रह रहे हैं अशोक अलीसेरिल को इस विमान को बनाने का आइडिया उस समय आया, जब पूरा विश्व कोरोना महामारी से लड़ रहा था। अशोक विधायक एवी थमारक्षण के बेटे हैं। उन्होंने पलक्कड़ इंजीनियरिंग कॉलेज से बीटेक पूरी की और साल 2006 में मास्टर डिग्री के लिए यूके चले गए। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, इस प्रोजेक्ट को पूरा करने में लगभग 1.4 करोड़ रुपये और लगभग 1500 घंटे लगे हैं।
अशोक का कहना है कि हमने पहले लॉकडाउन के दौरान पैसे बचाना शुरू कर दिए थे। हम हमेशा से अपना खुदका विमान बनना चाहते थे। पहले कुछ महीनों में जब हमने सारा पैसा बचा लिया। तब हमने विमान बनना शुरू किया। उनके साथ इस काम में उनके परिवार ने भी खूब साथ दिया। शख्स की पत्नी का कहना है कि अशोक ने पिछले दो सालों से इस काम को करने में अपनी जान लगा दी औऱ आखिरकार उनका ये सपना पूरा हो गया।
Kerala News: इस तरह प्लेन बना कर किया तैयार
फोर्ड कंपनी में बतौर मैकेनिकल इंजीनियर अशोक ने बताया कि मैने जोहान्सबर्ग स्थित कंपनी स्लिंग एयरक्राफ्ट के बारे में सुना था। जिसने 2018 में स्लिंग टीएसआई नाम का एक विमान लॉन्च किया था। उनके कारखाने का दौरा करने के बाद अशोक ने अपना विमान बनाने के लिए एक किट ऑर्डर की। उनका कहना है कि महामारी के चलते लगे लॉकडाउन में उन्हें इस प्रोजेक्ट को करने में कम समय मिला।
Kerala News: 2018 में ही प्लेन चलाने का मिल गया था लाइसेंस
अशोक ने बताया कि मैंने 2018 में प्लेन उड़ाने का लाइसेंस ले लिया था। जिसके बाद में यूरोप के दूसरे देशों में यात्रा के लिए 2 सीटर प्लेन किराए पर लेकर यात्रा करता था। उन्होंने बताया कि उनके परिवार के बढ़ने के बाद दो सीटों वाला विमान छोटा महसूस होने लगा। हम लोगों को चार सीटों वाले प्लेन की जरूरत महसूस होने लगी। जिसके बाद हमने खुद का प्लेन बनाने का फैसला किया।
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