निर्भया कांड के दोषियों का डेथ वारंट जारी करने वाले पटियाला हाउस के जज सतीश कुमार अरोड़ा का तबादला हो गया है। अब तक वे पटियाला हाउस कोर्ट में अतिरिक्‍त सत्र न्‍यायाधीश के रूप में तैनात थे। अब उन्‍हें सुप्रीम कोर्ट में बतौर अतिरिक्‍त रजिस्‍ट्रार के तौर पर एक साल के लिए डेपुटेशन पर भेजा गया है।

दिल्ली में 2012 में हुए गैंगरेप के चारों दोषियों के खिलाफ कुछ दिन पहले डेथ वारंट जारी किया गया था। नए डेथ वारंट के अनुसार, 1 फरवरी 2020 की सुबह 7 बजे निर्भया के दोषियों को फांसी देने का समय तय किया गया है।

पटियाला हाउस कोर्ट के जज सतीश कुमार अरोड़ा ने पहले निर्भया के दोषियों को फांसी की सजा देने के लिए 22 जनवरी की सुबह 7 बजे का वारंट जारी किया था, लेकिन उनमें से एक दोषी विनय की ओर से सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर किए जाने के बाद फांसी की सजा टालकर 1 फरवरी 2020 कर दिया गया।

13 सितंबर, 2013 को ट्रायल कोर्ट ने चारों दोषियों को फांसी की सजा सुनाई थी और चारों की सजा कन्फर्म करने के लिए मामले को हाई कोर्ट को रेफर किया था। साकेत स्थित फार्स्ट ट्रैक कोर्ट ने इन चारों को गैंगरेप और हत्या के लिए दोषी करार दिया था।

हाई कोर्ट ने 13 मार्च 2014 को चारों दोषियों अक्षय ठाकुर, विनय शर्मा, पवन गुप्ता और मुकेश की अपील भी खारिज कर दी थी। उसके बाद सुप्रीम कोर्ट में अपील की गई थी और वहां भी दोषियों की अपील खारिज हो गई थी।

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