UP Election 2022: यूपी के चुनावी मैदान में अब हर रोज नए समीकरण बनाने की कोशिश की जा रही है। सत्ताधारी दल बीजेपी विकास और धर्म के एजेंडे को मिलाकर जनता के बीच पहुंचने की कोशिश कर रही है। वहीं, विपक्ष सरकार की कमजोरियों को गिनाकर समीकरण को अपने पक्ष में करने की कोशिश कर रहा है। भारतीय जनता पार्टी और समाजवादी पार्टी इस रेस में खुद को आगे रखने की कोशिश करते दिख रहे हैं। अब समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने एक साल से अधिक समय तक चले किसान आंदोलन के चेहरा बने राकेश टिकैत को साथ आने का न्योता दे दिया है। राकेश टिकैत को न्योता देने के कई मायने हैं।
UP Election 2022 के लिए अखिलेश यादव ने राकेश टिकैत का किया स्वागत
अखिलेश यादव ने UP Election 2022 के लिए राष्ट्रीय लोक दल के साथ गठबंधन किया है। जयंत चौधरी के साथ उनकी कई सभा हो चुकी हैं। ऐसे में वे किसानों को साधने की भरसक कोशिश कर रहे हैं। अखिलेश जानते हैं कि किसान जैसे ही गांव लौटेंगे, वे जातियों में बंटेंगे। ऐसे में अगर उनके मन में यह रहा कि घर वापसी के समय उनके नेता को समाजवादी पार्टी ने अपने साथ आने को कहा, तो इसका असर गांवों में दिख सकता है। अखिलेश यादव ने कहा कि राकेश टिकैत अगर हमारे साथ चुनाव लड़ेंगे तो मैं उनका स्वागत करता हूं। वे किसानों के बड़े नेता हैं। उनका आंदोलन भी राजनीति से दूर रहा है। ऐसे में फैसला उनका है। अगर वे चुनाव लड़ने की इच्छा रखते हैं तो उनका स्वागत है।
किसानों का एक बड़ा वर्ग बीजेपी से नाराज
दिल्ली बॉर्डर से भले ही किसानों ने घर वापसी कर ली हो लेकिन किसान आंदोलन की आग को समाजवादी पार्टी ठंडी नहीं होने देने की कोशिश में है। इसलिए, लखीमपुर खीरी हिंसा को किसानों से जोड़ते हुए इस मामले पर किसान नेता को साधने की कोशिश की जा रही है। लखीमपुर खीरी हिंसा मामले के बाद किसानों का एक बड़ा वर्ग बीजेपी से नाराज है। ऐसे में अखिलेश ने राकेश टिकैत के जरिए किसानों की भावनाओं को साधने की कोशिश की है। भले ही, राकेश टिकैत केंद्र सरकार से किसी प्रकार की कड़वाहट की बात न करें, लेकिन साल भर से अधिक समय तक चले किसान आंदोलन का असर तो है ही।
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