दिल्ली में ठंड का 3 डिग्री वाला ‘टॉर्चर’ चल रहा है। खेतों में काम करने वाले किसान इस मौसम में सड़कों पर हैं। किसान लगातार 23 दिन से कृषि कानून के खिलाफ आंदोलन कर रहे हैं। इस बीच 20 किसानों की मौत हो चुकी है। वहीं  संत बाबा राम सिंह  ने इस कानून के खिलाफ आत्महत्या कर ली है। बाबा मूल रूप से पंजाब के जगरांव इलाके के रहने वाले थे और 1990 से एक ओंकार आश्रम और सिंगड़ा गांव में गुरुद्वारा चला रहे थे। वे अविवाहित थे और एक सिख प्रचारक के रूप में काम करते थे।

नई दिल्ली के कुंडली बॉर्डर पर बाबा ने खुद को गोली मार कर आत्महत्या करली, अपनी आत्महत्या के पीछे का राज वे एक कागज में दफन कर गए। पुलिस को मौके से बरामद सुसाइड नोट पंजाबी भाषा में है। सुसाइड नोट में उन्होंने लिखा, “मैंने कुंडली बॉर्डर पर किसानों के दर्द और उनकी पीड़ा देखी है। वे न्याय पाने के लिए सड़क पर हैं। ये बहुत दुखद है कि उन्हें न्याय नहीं मिल रहा है। यह दुखद है। किसी पर जुल्म करना पाप है और जुल्म सहना उससे भी बड़ा पाप है। लोगों ने किसानों के साथ  एकजुटता दिखाने के बहुत कुछ किया। कुछ ने गुस्सा जताया और कुछ ने अवॉर्ड लौटाए। ये दास किसानों के समर्थन में और सरकारी जुल्म के खिलाफ आत्महत्या कर रहा है। ये कदम जुल्म के खिलाफ और ​किसानों के हक में है।”

बाबा का शव सोनीपत के एक अस्पताल में ले जाया गया जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। बाद में उनका शव करनाल के एक सरकारी अस्पताल में ले जाया गया जहां उनके समर्थकों ने डॉक्टरों को पोस्टमॉर्टम करने की अनुमति नहीं दी। उनका शव बुधवार रात स्थित सिंगड़ा गुरुद्वारा में रखा गया। राम सिंह के अनुयायियों के अनुसार, वे प्रदर्शनकारी किसानों से मिलने नियमित रूप से दिल्ली बॉर्डर जा रहे थे और बुधवार को 500 कंबल बांटने के अलावा पांच लाख रुपये दान में दिए थे।

अचानक उनके निधन की खबर मिलने के बाद से उनके अनुयायी बड़ी संख्या में गुरुद्वारा पहुंच रहे हैं। बाबा राम सिंह के पार्थिव शरीर को एक दिन के लिए गुरुद्वारा परिसर में रखा गया ताकि उनके अनुयायी अंतिम दर्शन कर सकें। शुक्रवार सुबह उनका अंतिम संस्कार किया जाएगा।

पुलिस बाबा राम सिंह की आत्महत्या और उसके लिए बने हालात की कड़ियां जोड़ने की कोशिश कर रही है।  पुलिस सूत्रों का कहना है कि बाबा ने जब खुद को गोली मारी तब अपनी गाड़ी में वे अकेले थे। उनके साथ जो लोग आए थे, उनसे कुंडली में उन्होंने किसानों के प्रदर्शन में शामिल होने को कहा और वे लोग गाड़ी से उतर गए।

पुलिस अधिकारियों ने नाम न छापने का अनुरोध करते हुए बताया कि बाबा का सुसाइड नोट भी फॉरेंसिक जांच के लिए भेजा जाएगा। सूत्रों ने कहा कि बाबा ने आत्महत्या करने के लिए अपने लाइसेंसी हथियार का इस्तेमाल किया। हालांकि, पुलिस के अधिकारी अभी कुछ कहने से बच रहे हैं और फॉरेंसिक रिपोर्ट का इंतजार कर रहे हैं।

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