मोबाइल उपभोक्ताओं के लिए एक खुशखबरी है। आने वाले 1 अक्टूबर से कॉल रेट कम होने जा रहे हैं, जिससे उपभोक्ता घंटो भर मोबाइल पर बातें कर सकते हैं। दूरसंचार नियामक ट्राई ने आज एक अहम फैसला लेते हुए इंटरकनेक्शन उपयोग शुल्क (आइयूसी) को 14 पैसे से घटाकर 6 पैसे प्रति मिनट कर दिया है। इससे कॉल रेट और भी सस्ती हो सकती है। नई दरें 1 अक्टूबर से लागू होंगी।

बता दें आइयूसी यानी इंटरकनेक्शन उपयोग शुल्क वह शुल्क होता है जो कोई दूरसंचार कंपनी अपने नेटवर्क से दूसरी कंपनी के नेटवर्क पर कॉल के लिए दूसरी कंपनी को देती है।

ट्राई के इस फैसले से नई कंपनी रिलायंस जियो को फायदा मिलने की उम्मीद है। वहीं मौजूदा दूरसंचार ऑपरेटरों को जबरदस्त झटका लग सकता है। दूरसंचार ऑपरेटरों के संगठन सीओएआई ने इस फैसले को अनर्थकारी करार देते हुए कहा है इसके खिलाफ अदालत का दरवाजा खटखटाया जा सकता है।

सीओएआई के महानिदेशक राजन मैथ्यूज ने कहा कि, यह एक अनर्थकारी कदम है। इसके खिलाफ ज्यादातर सदस्य कंपनियों ने अदालत का दरवाजा खटखटाने का संकेत दिया है। ट्राई के पूर्व चेयरमैन राहुल खुल्लर ने भी मैथ्यूज के विचारों का समर्थन किया है। उन्होंन कहा, अगर आप टर्मिनेशन शुल्क घटाएंगे तो इसका फायदा जियो को होगा, क्योंकि वही अन्य नेटवर्क पर भारी ट्रैफिक बोझ डाल रही है।

इससे पहले टेलीकॉम कंपनी एयरटेल और आइडिया ने इंटरकनेक्शन यूजर चार्ज को दोगुना करने की मांग की थी। इन ऑपरेटरों का कहना था कि इस रेट को और बढ़ाना चाहिए। इसे वास्तविक लागत के हिसाब से होना चाहिए। उन्होंने इसे प्रति मिनट 35 से 40 पैसे करने की मांग की थी। हालांकि ट्राई ने भारती एयरटेल समेत तमाम स्थापित मोबाइल ऑपरेटरों के विरोध के बावजूद आईयूसी को घटाने का फैसला किया है।

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