Punjab में अगले साल विधानसभा के चुनाव होने वाले हैं। राज्य की सत्ताधारी पार्टी कांग्रेस एक बार फिर वापसी की उम्मीद कर रही है लेकिन शिक्षकों का मुद्दा उस पर भारी पड़ सकता है। पंजाब के अस्थायी शिक्षक अपनी मांगों को लेकर कई दिनों से प्रदर्शन कर रहे हैं। वो लगभग 6 महीनों से मोहाली में राज्य शिक्षा विभाग के बाहर धरने पर हैं। प्रदर्शन में बैठी एक शिक्षिका ने कहा है कि हमें पढ़ाते हुए 18 साल हो गए हैं और हमारी तनख्वाह मात्र 6,000 रुपए ही है। हमारी मांग है कि सरकार हमें जल्द स्थायी करे।
पंजाब में सत्ता में आने की उम्मीद कर रही आम आदमी पार्टी ने शिक्षकों की मांगों को मानने की बात कही है। दिल्ली के मुख्यमंत्री और आप प्रमुख Arvind Kejriwal शनिवार को मोहाली में संविदा शिक्षकों के विरोध प्रदर्शन में शामिल हुए। इससे पहले मुख्यमंत्री केजरीवाल ने मंगलवार को कच्चा अध्यापक यूनियन की लुधियाना इकाई के एक शिष्टमंडल से मुलाकात की थी। केजरीवाल ने राज्य में आप की सरकार बनने पर शिक्षकों की सभी मांगों को प्राथमिकता के आधार पर पूरा करने का आश्वासन दिया था।
शिक्षकों के लिए AAP की 8 गारंटियां
आप के राष्ट्रीय संयोजक केजरीवाल ने मंगलवार को पंजाब के सरकारी स्कूलों की शिक्षा प्रणाली को दिल्ली जैसी करने के लिए एक अभियान आह्वान किया था। उन्होंने शिक्षकों को आप की सरकार बनने पर आठ गारंटियां देने का वादा किया है।
1 शिक्षकों के साथ शिक्षा प्रणाली को बदलेंगे
2 संविदात्मक कार्य को नियमित करें
3 स्थानांतरण नीति बदलेंगे
4 शिक्षकों के लिए कोई गैर-शिक्षण कार्य नहीं
5 सभी रिक्तियों को भरेंगे
6 शिक्षकों का विदेश में प्रशिक्षण होगा
7 समय पर पदोन्नति
8 कैशलेस चिकित्सा सुविधा
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