विदेश मंत्रियों की QUAD बैठक में मेजबानी करेंगीं ऑस्ट्रेलिया की Foreign Minister Maris Payne

0
429
Quad Meeting
Quad Meeting

ऑस्ट्रेलिया में कल से शुरू होने वाली विदेश मंत्रियों की (QUAD) बैठक की तैयारियां पूरी कर ली गई हैं। न्‍यूज एजेंसी (ANI) के अनुसार ऑस्ट्रेलियाई विदेश मंत्री मारिस पायने मेलबर्न में चौथी (QUAD) विदेश मंत्रियों की बैठक में भारत, जापान और संयुक्त राज्य अमेरिका के अपने समकक्षों की मेजबानी करेंगीं। विदेश मंत्रालय के अधिकारियों के अनुसार क्वाड के सदस्य देशों के विदेश मंत्री क्वाड सहयोग की समीक्षा करेंगे।

इसके साथ ही वर्ष 2021 में आयोजित दो शिखर सम्मेलनों में तय किए गए सकारात्मक एवं रचनात्मक एजेंडे को नया रूप देंगे। इसमें खासतौर से समकालीन विश्‍व की चुनौतियों पर काम होगा। इसमें कोविड-19 महामारी, आपूर्ति शृंखला, महत्वपूर्ण प्रौद्योगिकियों, जलवायु परिवर्तन, बुनियादी ढांचे आदि के मसलों पर काम होगा, ताकि इन चुनौतियों का सामना किया जा सके।

QUAD NEW PIC
QUAD Meeting Pic credit google

रूपरेखा वार्ता की सह अध्‍यक्षता भारत करेगा

विदेश मंत्रालय के अनुसार क्‍वाड बैठक देश के लिए कई मायनों में बेहद खास होगी। विदेश मंत्री जयशंकर ऑस्ट्रेलियाई विदेश मंत्री मारिस पायने के साथ विदेश मंत्रियों के साइबर रूपरेखा संवाद के उद्घाटन बैठक की सह अध्यक्षता भी करेंगे। इसके अलावा 12वीं भारत-ऑस्ट्रेलिया विदेश मंत्रियों की रूपरेखा वार्ता की सह-अध्यक्षता भी करेंगे। विदेश मंत्रालय ने कहा कि बैठक के दौरान दोनों देशों के मध्‍य रणनीतिक साझेदारी की प्रगति की समीक्षा की जाएगी। आपसी हित के द्विपक्षीय, बहुपक्षीय और क्षेत्रीय मुद्दों पर चर्चा होगी।

क्‍या है (QUAD)

क्वाड (QUAD) यानी क्वाड्रीलैटरल सिक्योरिटी डायलॉग (Quadrilateral Security Dialogue)। वर्ष 2004 में हिंद महासागर में आई सुनामी के बाद भारत (India), जापान, अमेरिका और आस्ट्रेलिया एक साथ आए थे। इसे ‘सुनामी कोर ग्रुप’ नाम दिया गया था। इसके गठन का मकसद समकालीन वैश्विक चुनौतियों का समाधान करना था। इसी क्रम में वर्ष 2007 में ही जापान के तत्कालीन प्रधानमंत्री एबी शिंजो ने क्वाड के गठन का विचार दिया था।

भारत का क्वाड के लिए हमेशा से कहना है कि क्‍वाड अपने लोकतांत्रिक मूल्यों के चलते एकजुट है। इसीलिए ये भारत-प्रशांत क्षेत्र में स्थिरता का एक महत्त्वपूर्ण स्तंभ बना रहेगा। इस समूह को प्राचीन भारतीय दर्शन ‘वसुधैव कुटुंबकम’ का विस्तार कहा जाता है, जोकि दुनिया को एक परिवार मानता है।

भारत के सामरिक रूप से खास है क्‍वाड

भारत का मकसद चीन और पाकिस्तान के साथ सीमा विवादों को देखते हुए हिंद महासागर में क्वाड देशों के साथ मिलकर एक मजबूत आधार तैयार करना है। जिसके रहते हुए चीन हिंद महासागर में किसी भी कीमत पर अपना विस्‍तार न कर सके।

वैश्विक व्यापार के लिहाज से हिंद महासागर का समुद्री मार्ग चीन के लिए काफी ज्यादा महत्वपूर्ण है। दूसरी तरफ हिंद महासागर में भारत काफी मजबूत है, लेकिन, श्रीलंका के हंबनटोटा बंदरगाह पर कब्जा करने के बाद चीन की महत्वाकांक्षा हिंद महासागर में काफी बढ़ चुकी है। ऐसे में क्वाड की मदद से भारत चीन को काफी आसानी से हिंद महासागर से दूर रख सकता है।

संबंधित खबरें

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here