उत्तर प्रदेश पुलिस की स्पेशल टास्क फोर्स (एसटीएफ) ने मथुरा कोतवाली क्षेत्र से  बेसिक शिक्षा विभाग में फर्जी रुप से शिक्षकों को भर्ती कराने के मामले में वांछित चल रहे मुख्य आरोपी राजवीर सिंह को गिरफ्तार कर लिया है। एसटीएफ के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अभिषेक सिंह ने यहां बुधवार को बताया कि मथुरा कोतवाली क्षेत्र से फर्जी रुप से शिक्षकों की भर्ती कराने वाले फरार आरोपी  राजवीर सिंह को आगरा की एसटीएफ इकाई ने सरस्वती सेवा सदन के पास से मंगलवार शाम गिरफ्तार कर लिया। उसके पास से कई नियुक्ति पत्र जिस पर बीएसए के फर्जी  हस्ताक्षर बनाये है के अलावा  फर्जी दस्तावेज तैयार करने के लिए इस्तेमाल किया गया कम्प्यूटर एवं अन्य दस्तावेज बरामद किये गये।

उन्होंने बताया कि पकड़े गये आरोपी ने पूछताछ पर बताया कि माध्यमिक विद्यालयों के लिए सहायक अध्यापकों की भर्ती में मथुरा में कुछ पद खाली रह गये थे, जिसके सम्बन्ध में बीएसए कार्यालया में तैनात लीपिक महेश बाबू के अलावा कम्प्यूटर आपरेटर मोहित भारद्वाज, आलोक उपाध्याय, बंटी, बेगराज,चेतन, रविन्द्र चौधरी के अलावा मॉट ब्लाक के अनिल और ब्रजमोहन बाबू और राया ब्लाक के भानू बाबू के  सहयोग से अपने कम्प्यूटर पर 108 फर्जी  नियुक्ति पत्र तैयार कर बीएसए के फर्जी  हस्ताक्षर कर  शिक्षकों को नियुक्त कराया था। इन सभी की तैनाती मथुरा जिले के विभिन्न विद्यालयों में कराई गई थी। राजवीर के अनुसार इन नियुक्त कराये गये 108 फर्जी  शिक्षकों मे से 28 उसके सम्पर्क में थे। इस दौरान उसने फर्जी  मुहरों का भी प्रयोग किया। उसने घर से पांच अभ्यर्थियों की कूटरचित दस्तावेजों से शिक्षक के पद पर नियुक्ति कराये जाने सम्बन्धी पत्रावलियों काे भी बरामद कराये। शिक्षक भर्ती कराने की एवं में उसे एक करोड़ 15 लाख की धनराशि मिली थी।

सिंह ने बताया कि गिरफ्तार राजवीर सिंह के बैंक खातों का सत्यापन कराया जायेगा तथा इसमे जमा धनराशि के जब्तीकरण  की कार्रवाई  करायी जायेगी। पकड़े गये आरोपी को कोतवाली मथुरा में दाखिल करा दिया गया है। आगे की कार्रवाई स्थानीय पुलिस द्वारा की जायेगी।  गौरतलब है कि इस मामले में कुछ आरोपियों को पहले ही गिरफ्तार किया जा चुका है।

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