PM Modi Speech From New Parliament:तमिलनाडु से आए अधीनम संतों ने नए संसद भवन में हवन-पूजन कर पीएम मोदी को संगोल सौंपी। जिसे प्रधानमंत्री मोदी ने स्पीकर ओम बिड़ला के साथ लोकसभा में स्थापित किया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज यानी रविवार को देश के नए संसद भवन का उद्घाटन किया। उद्घाटन समारोह का कई विपक्षी दलों ने विरोध किया है और बहिष्कार का भी ऐलान किया है। वहीं, नई संसद के उद्घाटन के बाद पीएम मोदी ने इस नए संसद भवन से देश को संबोधित किया। पीएम के संबोधन से पहले नई संसद पर बनी डॉक्यूमेंट्री को दिखाया। इस दौरान पीएम मोदी ने 75 रुपये का सिक्का जारी किया।

अपने संबोधन में पीएम मोदी ने कहा,”हर देश की विकास यात्रा में कुछ पल ऐसे आते हैं जो अमर हो जाते हैं। 28 मई ऐसा दिन है। भारतीय लोकतंत्र के इस स्वर्णिम अवसर पर सभी को बधाई। यह नया संसद भवन योजना को यथार्थ से, नीति को निर्माण से, इच्छाशक्ति को क्रियाशक्ति से, संकल्प को सिद्धि से जोड़ने वाली कहम कड़ी साबित होगा।” उन्होंने कहा कि आज नया भारत नये लक्ष्य तय कर रहा है। पीएम ने कहा,”जब भारत आगे बढ़ता है तो विश्व आगे बढ़ता है। संसद का ये नया भवन, भारत के विकास से, विश्व के विकास का भी आह्वान करेगा।”
Parliament:पवित्र सेंगोल की भी हुई स्थापना-पीएम
पीएम मोदी ने अपने संबोधन में कहा,”आज इस ऐतिहासिक अवसर पर, कुछ देर पहले संसद की इस नई इमारत में पवित्र सेंगोल की भी स्थापना हुई है।” उन्होंने कहा,”महान चोल साम्राज्य में सेंगोल को, कर्तव्यपथ का, सेवापथ का, राष्ट्रपथ का प्रतीक माना जाता था। राजाजी और आदीनम् के संतों के मार्गदर्शन में यही सेंगोल सत्ता के हस्तांतरण का प्रतीक बना था।”
पीएम ने कहा कि भारत आज वैश्विक लोकतंत्र का भी बहुत बड़ा आधार है। लोकतंत्र हमारे लिए सिर्फ एक व्यवस्था नहीं, एक संस्कार है, एक विचार है, एक परंपरा है।
पीएम मोदी ने कहा,”हमारा लोकतंत्र ही हमारी प्रेरणा है, हमारा संविधान ही हमारा संकल्प है। इस प्रेरणा, इस संकल्प की सबसे श्रेष्ठ प्रतिनिधि, हमारी ये संसद ही है।”
उन्होंने कहा,”गुलामी के बाद हमारे भारत ने बहुत कुछ खोकर अपनी नई यात्रा शुरू की थी। वो यात्रा कितने ही उतार-चढ़ावों से होते हुए, कितनी ही चुनौतियों को पार करते हुए, आजादी के अमृतकाल में प्रवेश कर चुकी है। आजादी का ये अमृतकाल विरासत को सहेजते हुए विकास के नए आयाम गढ़ने का अमृतकाल है।”
प्रधानमंत्री मोदी ने संसद को बनाने वाले श्रमिकों को लेकर भी अपनी बात कही। उन्होंने कहा,”संसद भवन ने करीब 60,000 श्रमिकों को रोजगार देने का काम किया है। इनके श्रम को समर्पित एक डिजिटल गैलेरी भी बनाई गई है। आज जब हम लोकसभा और राज्यसभा को देखकर उत्सव मना रहे हैं तो मुझे संतोष है कि हमने देश में 30,000 से ज्यादा नए पंचायत भवन भी बनाए हैं। पंचायत भवन से लेकर संसद भवन तक हमारी निष्ठा एक ही है।”
पीएम मोदी ने कहा कि आज से 25 साल बाद भारत अपनी आजादी के 100 वर्ष पूरे करेगा। हमारे पास भी 25 वर्ष का अमृत कालखंड है। इन 25 वर्षों में हमें मिलकर भारत को विकसित राष्ट्र बनाना है।
उन्होंने आगे कहा,”मुझे विश्वास है कि इस संसद में जो जनप्रतिनिधि बैठेंगे, वे नई प्रेरणा के साथ, लोकतंत्र को नई दिशा देने का प्रयास करेंगे। यह संसद भवन हर भारतीय के कर्तव्य भाव को जागृत करेगा।”
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