CBI ने एक चौंकाने वाले फर्जीवाड़े का भंडाफोड़ किया है। इस फर्जीवाड़े में शामिल गिरोह के 4 लोगों को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। वहीं सीबीआई अफसरों का कहना है कि छापेमारी के दौरान रैकेट से जुड़ा एक आरोपी अफसरों को धोखा देकर फरार हो गया था। जिसके खिलाफ राजधानी में स्थानीय पुलिस स्टेशन पर एक अलग एफआईआर दर्ज की गई है। वहीं सीबीआई ने अपनी एफआईआर में महाराष्ट्र के लातूर के रहने वाले कमलाकर प्रेमकुमार बंदगार, कर्नाटक के बेलगाम के रवींद्र विठल नाइक, दिल्ली-एनसीआर के महेंद्र पाल अरोड़ा, अभिषेक बूरा और मोहम्मद एजाज खान को नामजद किया है।

CBI के वरिष्ठ अफसर होने का झांसा देता था आरोपी
वहीं आरोप है कि आरोपी खुद को CBI के वरिष्ठ अफसर बताते थे।इसके साथ ही वह उच्च पदों पद बैठे बड़े अफसरों के साथ संपर्क का भी झांसा देते थे। इसके लिए उसने बूरा, अरोड़ा, नाइक और खान को यह काम सौंपा था कि वे ऐसे गैरकानूनी काम करवाने के लिए लाएं, जिनके एवज में मोटी रकम वसूली जा सके।

पद दिलवाने का झांसा देकर मोटी रकम वसूलता था गिरोह
वहीं सीबीआई द्वारा दर्ज की गई एफआईआर के अनुसार राज्यसभा सदस्यता के लिए सीट दिलवाने, राज्य का राज्यपाल बनावाने, केंद्रीय मंत्रालयों और विभागों के अधीन आने वाले किसी सरकारी संगठन का अध्यक्ष बनवाने का झांसा देता था। इसके लिए रैकेट मोटी रकम वसूलता था।
यह भी पढ़ें…
सरकार में आते ही Eknath Shinde का लोकलुभावन कदम, महाराष्ट्र में ईंधन पर घटाया जाएगा VAT
Whatsapp मैसेज से लोगों के साथ धोखाधड़ी, दिल्ली पुलिस ने किया अलर्ट