प्रयागराज। जार्ज टाउन थाने की पुलिस को सरकारी वकील से ज्यादती और अभद्रता महंगी पड़ गई। राज्य विधि अधिकारी को बिना किसी ठोस वजह के और बिना जांच के मारते पीटते थाने में बंद करने की घटना पर हाई कोर्ट द्वारा संज्ञान लेने के बाद एसएसपी प्रयागराज ने सब इंस्पेक्टर संजीव कुमार सहित पांच पुलिस कर्मियों को निलंबित कर दिया है।
भुक्त भोगी राज्य विधि अधिकारी संजय सिंह ने इस घटना की शिकायत एसएसपी से की थी तथा कोर्ट को भी अवगत कराया था। अधिवक्ता संजय सिंह टैगौर टाउन के शिवम विहार अपार्टमेंट में रहते हैं। वो बिल्डिंग सोसायटी के सचिव भी हैं। संजय सिंह बताते हैं कि उन्हीं के बिल्डिंग में संतराम यादव का एक फ्लैट है । जिसमें काफी समय से ताला बंद है। 19 सितंबर को कुछ लड़के और लड़कियां उस फ्लैट में किराए पर रहने के लिए आए। रात लगभग 12 बजे वह लोग फ्लैट में हल्ला गुल्ला करने लगे तो बिल्डिंग में रहने वाले अन्य लोगों ने उन से इसकी शिकायत की। जिस पर उन्होंने शोर मचा रहे लड़के लड़कियों से ऐसा करने का कारण पूछा तो वो लोग उनसे उलझ गए। इस पर विवाद हो गया ।
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इसी बीच किसी ने जॉर्ज टाउन थाने पर फोन करके पुलिस बुला ली। आरोप है कि सब इंस्पेक्टर संजीव कुमार अपने साथ चार कांस्टेबल लेकर के आए और बिना बात को पूरी तरीके से समझे संजय सिंह को पीटना शुरू कर दिया। उनको पीटते व गालियां देते हुए घसीट कर थाने ले गए और लॉकअप में बंद कर दिया। उनको सुबह छोड़ा गया ।
संजय सिंह ने इसकी शिकायत एसएसपी से की थी । जिस पर एसएसपी ने क्षेत्राधिकारी आस्था जायसवाल को मामले की जांच सौंपी। बिल्डिंग में लगे सीसीटीवी कैमरे की फुटेज और जांच में यह साबित हो गया कि संजय सिंह द्वारा लगाए गए आरोप प्रथम दृष्टया सही है। रिपोर्ट के आधार पर एसएसपी ने उप निरीक्षक संजीव कुमार, हेड कांस्टेबल जयप्रकाश मिश्रा, कांस्टेबल अनुज, राधेश्याम साहनी और रणविजय सिंह को निलंबित कर विभागीय जांच बैठा दी है।
एसपी सिटी ने बुधवार को हाईकोर्ट में उपस्थित होकर दोषी पुलिसकर्मियों के खिलाफ की गई कार्रवाई से अदालत को अवगत कराया। उधर संजय सिंह का कहना है कि पुलिस द्वारा की गई कार्रवाई से ऐसा लगता है कि उपद्रव करने वालों की उनसे पहले से सांठगांठ थी और सब कुछ किसी वजह से सोच समझ कर के किया गया है।
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