Top 5 Savings Schemes हर किसी के लिए ऐसा उपाय है, जिसमें कम धन के निवेश से अधिक से अधिक लाभ मिलने की उम्मीद रहती है। हर इंसान जिंदगी को सुंदर बनाने और उसे संवारने के लिए कई तरह के उपाय करता है। उन्हीं उपायों में शामिल है बचत योजना। अपने हर महीने की आय से कुछ पैसे जोड़कर बचत योजना में डाले जा सकते हैं, जो भविष्य की नींव को मजबूत करते हैं और हर वक्त मजबूत के साथ बने रहते हैं।
कई बार आदमी किसी बचत योजना में निवेश के विषय में सोचते हैं लेकिन इस मामले में जानकारी न होने के कारण बहुत से लोग हाथ पीछे खिंच लेते हैं। कई बार तो लोगों को पता होता है बचत योजनाओं के बारे में लेकिन वो अपने लिए सही बचत योजना का चयन नहीं कर पाते हैं, जिसके कारण वो भविष्य बचत योजना में निवेश करने से चूंक जाते हैं और बाद में पछताते हैं। इन्हीं सब मुद्दों को समझते हुए यहां पर 5 बचत योजना के बारे में विस्तार से बताया जा रहा है। ध्यान से पढ़ें और चुन लें कोई भी योजना जो आपके भविष्य को बनाए सुरक्षित।
Public Provident Fund (PPF)
Public Provident Fund (PPF): कई निवेशकों का मानना है कि पीपीएफ में निवेश कई वजहों से फायदेमंद है। पहली बात पीपीएफ में निवेश पर टैक्स छूट मिलती है यानी कमाया गया ब्याज टैक्स-फ्री होता है। दूसरी बात कि इसमें मैच्योरिटी पर कोई टैक्स नहीं लगता है। इसमें सालाना अधिकतम 1.5 लाख रुपये के निवेश की सीमा तय है।

वो निवेशक जिनकी उम्र 35 साल से कम है, उन्हें पीपीएफ में निवेश से बचना चाहिए। उन्हें पीपीएफ की जगह इक्विटी लिंक्ड सेविंग्स स्कीम (ईएलएसएस) या एनपीएस से उन्हें ज्यादा रिटर्न मिल सकता है। हालांकि, जिनकी उम्र 45 साल से अधिक है, उन्हें पीपीएफ में निवेश करने से ज्यादा फायदा मिलने की उम्मीद रहती है। हालांकि यह याद रखना होगा कि इनकी ब्याज दरें सरकार की बॉन्ड यील्ड से जुड़ी होती हैं और इनका निर्धारण हर तिमाही होता है।
सुकन्या समृद्धि योजना (Sukanya Samriddhi Yojana)
सुकन्या समृद्धि योजना (SSY) : आप अगर बेटी की शिक्षा और शादी के लिए पीपीएफ या बैंक डिपॉजिट में निवेश के बारे में सोच रहे हैं तो सुकन्या समृद्धि योजना (SSY) को लें, ये सबसे बेहतर विकल्प है। इसे आप तभी ले सकते हैं जब बेटी की उम्र 10 साल से कम हो। तभी बेटी के नाम से खाता खुलवाया जा सकता है।

इसमें भी किसी वित्त वर्ष में निवेश की सीमा 1.5 लाख रुपये है। माता-पिता अधिकतम दो बेटियों के लिए खाता खुलवा सकते हैं लेकिन दोनों खातों में सालाना निवेश मिलाकर 1.5 लाख रुपये से ज्यादा नहीं हो सकता है। पीपीएफ की तरह सुकन्या समृद्धि योजना में भी सेक्शन 80सी के तहत टैक्स छूट का लाभ मिलता है। इसके साथ ही मैच्योरिटी पर अलग से कोई टैक्स नहीं लगता है। ब्याज की दरें भी काफी अच्छी 8.5 फीसदी हैं।
Post Office Monthly Income Scheme
पोस्ट ऑफिस मंथली इनकम स्कीम (PMIS): दिसंबर तिमाही में पोस्ट ऑफिस मंथली इनकम स्कीम पर 7.7 फीसदी ब्याज मिलता है। निवेशक अपने नाम से कई खाते खुलवा सकता है। इसमें किसी एक खाते में निवेश की ऊपरी सीमा 4.5 लाख रुपये है।

पोस्ट ऑफिस के ज्वाइंट अकाउंट में 9 लाख रुपये ही रखे जा सकते हैं। स्कीम में निवेशकों को काफी लिक्विडिटी मिलती है। पेनाल्टी के साथ एक साल के बाद ही मैच्योरिटी से पहले निकासी की जा सकती है। टैक्स के लिहाज से यह स्कीम अच्छी नहीं है। कमाया गया ब्याज टैक्सेबल होता है। सेक्शन 80सी के तहत कोई छूट नहीं मिलती है। वैसे इससे नियमित मासिक आय होती है।
किसान विकास पत्र (Kisan Vikas Patra)
किसान विकास पत्र (Kisan Vikas Patra Scheme) भारत सरकार की एक वन टाइम इन्वेस्टमेंट स्कीम है। इसमें एक तय अवधि में आपका पैसा दोगुना हो जाता है। किसान विकास पत्र देश के सभी डाकघरों और बड़े बैंकों में मौजूद है। इस पर अभी ब्याज दर 6.90 फीसदी है।

किसान विकास पत्र का मेच्योरिटी पीरियड अभी 124 महीने है। इसमें कम से कम 1000 रुपये का निवेश करना होता है। इसके तहत अधिकतम निवेश की कोई लिमिट नहीं है। किसान विकास पत्र (KVP) में सर्टिफिकेट के रूप में निवेश होता है। पोस्ट ऑफिस स्कीम्स पर सरकारी गारंटी मिलती है, ऐसे में इसमें रिस्क बिल्कुल नहीं है। इसे 2.5 साल बाद कैश किया जा सकता है। इसमें धारा 80 सी के तहत टैक्स में छूट नहीं मिलती है।
Senior Citizen Savings Scheme (SCSS)
एससीएसएस (SCSS) : सीनियर सिटीजन के लिए यह सबसे अच्छा विकल्प है। 3 से 5 साल के बैंक एफडी अभी 7.5-8 फीसदी रिटर्न दे रहे हैं। ज्यादातर बैंक सीनियर सिटीजन को 0.25-0.50 फीसदी ज्यादा ब्याज देते हैं। इस साल के बजट में सीनियर सिटीजन को ब्याज आय पर अतिरिक्त 50,000 रुपये की छूट का प्रावधान किया गया है।

वहीं सीनियर सिटीजन सेविंग्स स्कीम (एससीएसएस) की ब्याज दरें बढ़ाकर सालाना 8.7 फीसदी की गई हैं। इसके चलते बैंक डिपॉजिट के मुकाबले यह कहीं ज्यादा बेहतर विकल्प है। इससे भी अधिक यह कि इसमें ब्याज का तिमाही आधार पर भुगतान होता है। इस तरह यह स्कीम रिटायर हो चुके लोगों की नियमित आय की जरूरतों को भी पूरा करती है। सीनियर सिटीजन इसमें 15 लाख रुपये तक निवेश कर सकते हैं। खाता डाकघर या सरकारी बैंक की अधिकृत शाखा में खुलवाया जा सकता है।
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