Putin 70th Birthday: रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन अपना 70वां जन्मदिन मना रहे हैं। मौजूदा समय में उनकी चर्चा पूरी दुनिया में हो रही है। कहीं आलोचना तो कहीं समर्थन के रूप, हर देश पुतिन के बारे में बात कर रहा है। लेकिन, ये जश्न का मौका उस समय आया है जब यूक्रेन की जंग में रूस की सेनाएं पिछड़ रही हैं। उन्होंने यूक्रेन पर हमला बोला और सात महीने से अधिक समय बाद भी वे तमाम प्रतिबंधों, पश्चिमी दबावों और धमकियों के बावजूद जंग को आगे लेकर जा रहे हैं। सबसे बड़ी बात ये है कि रूस की जनता राष्ट्रवाद का पुतिन का वर्जन सुनने को तैयार नहीं है। जब से यूक्रेन के साथ जंग शुरू हुई है तब से ही पुतिन अमेरिका और यूरोप की आंखों में खटक रहे हैं।
बता दें कि यूक्रेन युद्ध के बीच अपना 70वां जन्मदिन मना रहे हैं। यूक्रेन के साथ जब फरवरी में रूस की जंग शुरू हुई तो अमेरिका से लेकर यूरोप की चिंताएं दोगुनी हो गई। मालूम हो कि, पुतिन एक बेहद गरीब परिवार से आते हैं, आज वे राजनेता बन गए हैं। पुतिन को अब राजनीति के विशेषज्ञ एक ऐसे नेता के तौर पर देखते हैं जो अपनी मर्जी से ही फैसले लेता है।
Putin 70th Birthday: सोवियत संघ के लेनिनग्राड में जन्में पुतिन जासूस थे
सात अक्टूबर 1952 को सोवियत संघ के लेनिनग्राड में जन्में पुतिन दरअसल एक जासूस थे। लेनिनग्राड अब सेंट पीटर्सबर्ग में है। पुतिन ने एक इंटरव्यू में बताया था कि वह एक साधारण परिवार से आते हैं। पुतिन को आज भी याद है कि उनकी मां मारिया शेलोमोवा बंदगोभी का सूप, कटलेट्स और पैनकेक बनाती थीं। रविवार को जब सबकी छुट्टी होती तो उनकी मां उन्हें स्टफ्ड बन, मीट और चावल पकाकर खिलाती थीं। पुतिन को हमेशा से जूडो सीखने का मन था लेकिन उनकी मां उनके इस फैसले का विरोध किया था। लेकिन वह एक ब्लैक बेल्ड जूडो खिलाड़ी बने। उनके पिता व्लादिमीर स्पिरिडोनोविच पुतिन ने युद्ध में हिस्सा लिया था। सन् 1950 तक वह एक सिक्योरिटी गार्ड के तौर पर काम कर रहे थे।
Putin 70th Birthday: पुतिन में लेनिन और जोसेफ स्टालिन की दिखती है झलक
आज कुछ लोगों को पुतिन में व्लादिमीर लेनिन और जोसेफ स्टालिन की झलक दिखती है। पुतिन ने शायद इन्हीं दोनों से राजनीति के गुर सीखें। एक डॉक्यूमेंट्री में पुतिन ने बताया था कि उनके दादा स्प्रीरीडॉन पुतिन लेनिन और स्टालिन के घर पर कुक का काम करते थे। स्टालिन उनके दादा को काफी मानते थे। जब पुतिन पहली बार देश के राष्ट्रपति बने थे तो उन्होंने लेनिन की सरकार को रूस के लिए टाइम बम जैसी स्थिति का जिम्मेदार करार दिया था।
पुतिन रूस की इंटेलीजेंस एजेंसी केजीबी का हिस्सा रहे
17 साल तक पुतिन रूस की इंटेलीजेंस एजेंसी केजीबी का हिस्सा रहे। यह सोवियत संघ के जमाने की वह एजेंसी थी जो अमेरिकी एजेंसी सीआईए के बराबर समझी जाती थी। केजीबी को ही कोल्ड वॉर का जिम्मेदार माना जाता था और यह एजेंसी कई स्पाई नॉवेल्स और फिल्मों की प्रेरणा बनी थी। एक एजेंट के तौर पर पुतिन ने अमेरिका और जर्मनी की जासूसी की। आज पुतिन ने रशियन भाषा के अलावा अंग्रेजी और जर्मन में भी महारत हासिल की है। लेकिन, वे सार्वजनिक मौकों पर अंग्रेजी बोलने से बचते हैं।
Putin 70th Birthday: पुतिन को कड़ी मेहनत के लिए जाना जाता था
पुतिन जिस समय केजीबी में थे तो उन्हें कड़ी मेहनत करने और कानून पढ़ने के लिए कहा जाता था। पुतिन ने लेनिनग्राड यूनिवर्सिटी से लॉ की पढ़ाई की। इसके बाद 17 साल तक वे एक एजेंटे के तौर पर काम करते रहे। 1989 में हुई एक घटना ने पुतिन का जीवन बदलकर रख दिया। जर्मनी के ड्रेसडेन में केजीबी के ऑफिसेज के बाहर एंटी-कम्युनिस्ट्स की भीड़ इकट्ठा थी। पुतिन को बताया गया था कि केजीबी अब कुछ नहीं कर सकती है। जब तक मॉस्को से कोई आदेश नहीं आएगा, तब तक कुछ नहीं हो सकता है।
जिस पर पुतिन ने कहा था कि मॉस्को में इस समय हर कोई खामोश है। मुझे लगता है कि अब यह देश बचा ही नहीं है और गायब हो गया है। यह साफ है कि संघ बीमार पड़ चुका है और इसे ऐसी बीमारी लग गई है जिसका कोई इलाज नहीं है।’ पुतिन ने इस बीमारी को ‘सत्ता को लकवा’ मारना बताया था। यहां से ही पुतिन की पूरी जिंदगी बदल गई।
कैसे बने Putin राजनेता
पुतिन ने एक बार कहा था कि साल 2000 के बाद उन्होंने सोवियत संघ के नेताओं की कोई भी किताब नहीं पढ़ी। उनका मानना था कि ऐसे लोग जिन्होंने अपनी मातृभूमि को धोखा दिया है, वो किसी काम के नहीं होते हैं। 1991 में पुतिन केजीबी से इस्तीफा दे दिया। वे सेंट पीटर्सबर्ग वापस आ गए। वे हमेशा पर्दे के पीछे रहते और एक लो प्रोफाइल नेता के तौर पर आगे आए। 1998 में तत्कालीन रूसी राष्ट्रपति बोरिस येल्तिसन ने पुतिन को अपना उत्तराधिकारी घोषित किया।
Putin पहले पीएम बनें फिर राष्ट्रपति
1999 में पुतिन प्रधानमंत्री बने। इसके बाद साल दिसंबर में अचानक येल्तिसन ने अपना पद छोड़ने का ऐलान किया और पुतिन राष्ट्रपति बन गए। हालांकि, साल 2000 में उन्होंने राष्ट्रपति का चुनाव भी जीता। साल 2004 में उन्होंने दूसरी बार राष्ट्रपति का कार्यकाल संभाला। साल 2008 में दमित्री मेदवेदेव को राष्ट्रपति बनाया गया और पुतिन पीएम बने।
साल 2012 में पुतिन ने छह साल तक राष्ट्रपति का कार्यकाल अपने नाम कर लिया। तब से ही पुतिन देश के राष्ट्रपति हैं। इन 10 सालों में वे काफी ताकतवर हो चुके हैं। हालांकि, यूक्रेन की जंग के बाद रूस में ही उनकी लोकप्रियता में कमी आने लगी है। पुतिन फाइटर जेट्स तक उड़ा सकते हैं और उन्हें एफ1 का भी शौक है।
पिछले हफ्ते पुतिन ने यूक्रेन के चार इलाकों को औपचारिक रूप से रूस में मिला लिया। रूस के मुताबिक डोनेट्स्क, लुहान्स्क, ज़ापोरिज़्ज़िया और खेरसॉन अब उनके इलाके हैं। 70 साल के पुतिन की छवि एक माचो मैन राजनेता की रही है। उनकी फिटनेस की पूरी दुनिया कायल है। इस उम्र में भी उन्हें घोड़े की सवारी, शिकार करते या बर्फीले पानी में नहाते देखा जाता है। यूक्रेन पर हमले के कारण पुतिन की छवि रूसी राष्ट्रवादियों के बीच काफी ज्यादा मजबूत भी हुई है। रूस में उन्हें ऐसे राजनेता के तौर पर देखते हैं, जो किसी से न तो डरता है और न ही झुकता है।
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