Hologram: प्रधानमंत्री Narendra Modi ने शुक्रवार को घोषणा की है कि जब तक India Gate पर हमारे देश के महान स्वतंत्रता सेनानी Subhash Chandra Bose की एक प्रतिमा नहीं बन जाती है तब तक उनकी एक होलोग्राम प्रतिमा स्थापित की जाएगी। बता दें कि इस होलोग्राम प्रतिमा का अनावरण पीएम मोदी सुभाष चंद्र बोस की जयंती के अवसर पर रविवार 23 जनवरी को करेंगे। नेताजी बोस की प्रतिमा होलोग्राम तकनीक द्वारा स्थापित की जाएगी तो चलिए जानते हैं कि यह तकनीक आखिर यह क्या है?

होलोग्राफी क्या है
होलोग्राम प्रतिमा या होलोग्राम, Holography तकनीक से बनाए जाते हैं। इस लिए पहले हम होलोग्राफी को जानते हैं। होलोग्राफी तकनीक की बात करें तो यह एक प्रकार के Semaphore सिस्टम से काम करती है। आसान शब्दों में कहें तो यह सूर्य की किरणों द्वारा काम करती है और इसके काम करने में दर्पण की बहुत महत्वपूर्ण भूमिका होती है। दर्पण को पल-पल में घुमाकर या सटर से बीम को Interrupt करके ही फ्लैश प्रोड्यूस्ड की जाती है।

Hungary के वैज्ञानिक डेनिस गैबर (Dennis Gabor) ने 1948 में होलोग्राफी टेक्नोलॉजी का आविष्कार किया था। जिसके लिए उन्हें 1971 में भौतिकी का नोबेल पुरस्कार भी मिला था।
Hologram Technology क्या है
Hologram Technology एक 3-Dimensional Projection है। आसान शब्दों में कहें तो इससे 3D तस्वीरें दिखाई देती हैंं। खास बात यह है कि होलोग्राम को बिना किसी स्पेशल Equipment, कैमरा या ग्लास के भी देखा जा सकता है। साथ ही होलोग्राम की तस्वीरें किसी भी एंगल से देखी जा सकती हैं और इसे देखना वाला व्यक्ति जैसे-जैसे चलेगा यह उसी प्रकार से शिफ्ट होती जाएंगी।

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