Rohini Court Firing की घटना की गंभीरता को देखते हुए Delhi High Court ने सुरक्षा के मामले में कहा कि अदालतों में सुरक्षा के मामले में गम्भीर कदम उठाने की जरूरत है। दिल्ली हाईकोर्ट में बार काउंसिल की तरफ से पेश वकील ने हाई कोर्ट को बताया कि दिल्ली की जिला अदालतों में सुरक्षा के मसले को लेकर दिल्ली के पुलिस कमिश्नर से मुलाकात की है।
बार काउंसिल के वकील ने बताया कि दिल्ली की जिला अदालतों में भी सुप्रीम कोर्ट की तरह सुरक्षा प्रदान करने के लिए ठोस कदम उठाए जाएंगे। सुरक्षा के मामले को लेकर महिला वकील दीपा जोसेफ ने दिल्ली की सभी जिला अदालतों में जरूरी सुरक्षा उपाय करने का निर्देश देने की मांग को लेकर दिल्ली हाई कोर्ट में याचिका दाखिल की है। दिल्ली हाई कोर्ट इस मामले की सुनवाई 11 अक्टूबर को करेगा।
इसके अलावा अधिवक्ता विशाल तिवारी द्वारा दायर एक अन्य याचिका में कहा गया है कि जजों और न्यायिक अधिकारियों के व्यक्ति को जीवन के लिए किसी भी खतरे के खिलाफ सुरक्षित करना महत्वपूर्ण है। उन्होंने सुझाव दिया कि गैंगस्टरों को वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से निचली अदालतों के समक्ष जेलों से पेश किया जाए और भारत के 6 जिला न्यायालय परिसरों में सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएं।
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रोहिणी कोर्ट में फायरिंग का मामला
दिल्ली के रोहिणी कोर्ट में घुसकर हमलावरों ने गैंगस्टर Jitendra Mann ‘Gogi’ को गोलियों से भून दिया था। Jitendra Mann ‘Gogi’ की मौके पर ही मौत हो गई थी। इस गोलीबारी में तीन लोग घायल बताए जा रहे हैं, जबकि दिल्ली पुलिस की जवाबी फायरिंग में दो हमलावर मारे गए। रोहिणी कोर्ट के अंदर पिछले 5 सालों में गोलीबारी की यह चौथी घटना थी। दिल्ली पुलिस ने मामले के सिलसिले में दो आरोपियों विनय और उमंग को गिरफ्तार किया है।
रोहिणी में हुई फायरिंग पर दिल्ली बार एसोसिएशन के पूर्व चैयरमैन के सी मित्तल ने चिंता जताई थी। एक वीडियो जारी कर उन्होंने जजों और वकीलों की सुरक्षा के लिए Advocate Security Act को लागू करने की मांग की।
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