रेल यात्रियों को एक बड़ा झटका लगने वाला है। आने वाले दिनों में गरीब रथ एक्सप्रेस का किराया बढ़ सकता है। गरीब रथ एक्सप्रेस आम आदमी के लिए सस्ते किराये की सुविधा के साथ शुरू की गई वातानुकूलित ट्रेन है। रेलवे एक दशक पहले तय हुए बेडरोल के 25 रुपये के किराये को भी बढ़ाने पर विचार कर रहा है, जिससे किराये में खासी बढ़ोतरी हो सकती है। भारतीय रेलवे ने ये फैसला सीएजी यानि नियंत्रक और महालेखा परीक्षक के ऑफिस से एक पत्र आने के बाद लिया है। पत्र में पूछा गया कि गरीब रथ के किराए की समीक्षा क्यों नहीं की गई है इसके साथ ही नोट में बेडरोल की लागत को किराए में शामिल किए जाने की सिफारिश की गई है। 2006 में गरीब रथ एक्सप्रेस ट्रेन की शुरुआत की गई थी तब से ही इसके किराए की कभी समीक्षा नहीं हुई।

रेलवे अभी सीएजी के पत्र के आधार पर गरीब रथ के किराए की समीक्षा करेगी और किराए बढ़ने में करीब 6 महीने का समय लग सकता है। गरीब रथ के साथ दूसरी ट्रेन के किरायों में भी बढ़ोतरी हो सकती है क्योंकि इन ट्रेनों में भी बेडरोल की कीमतों में 12 साल कोई से बढ़ोतरी नहीं हुई है। इस दौरान बेडरोल के रखरखाव में आने वाली लागत कई गुना बढ़ चुकी है। रेलवे सभी एसी कोच में बेडरोल की सप्लाई करता है और इसे किराए में शामिल किया जाता है लेकिन दुरंतो और गरीब रथ जैसी खास ट्रेनों को इस चार्ज से छूट मिलती है जो सीएजी की सिफारिश के बाद आगे नहीं मिलेगी। प्रत्येक एसी कोच में रेलवे 25 रुपए बेडरोल का चार्ज लगाता है। बेडरोल किट में दो चादर, एक तौलिया, कवर समेत एक तकिया और एक कंबल उपलब्ध कराया जाता है।

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