उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव के अंतिम दौर में सातवें चरण की 40 सीटों के लिए आज चुनाव प्रचार समाप्त हो गया है। इन सीटों पर 8 मार्च को मतदान होगा। अंतिम चरण में सात जिलों की 40 सीटों पर मतदान होना है। इनमे भदोही जिले की तीन, चंदौली ज़िले की चार, गाजीपुर जिले की सात, जौनपुर जिले की नौ, मिर्ज़ापुर जिले की पांच, सोनभद्र जिले की चार और वाराणसी जिले की आठ सीटें शामिल हैं। उत्तरप्रदेश चुनावों के आखिरी दौर में 40 सीटों पर 535 प्रत्याशियों के भाग्य का फैसला होना है।
चुनावों में प्रत्याशियों के शपथपत्र के आधार पर हर बार की तरह इस बार भी एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफार्म्स (एडीआर) व उत्तर प्रदेश इलेक्शन वॉच ने किस्मत आजमा रहे 535 प्रत्याशियों के शपथपत्र की विश्लेषण रिपोर्ट जारी की है। इसके मुताबिक कुल 115 उम्मीदवारों के खिलाफ मुकदमे दर्ज हैं। आंकड़ों में चुनाव लड़ रहे 22 फ़ीसदी उम्मीदवार दागी हैं। इनमे से 18 फ़ीसदी उम्मीदवारों पर हत्या, हत्या के प्रयास,महिला उत्पीड़न जैसे गंभीर मामले दर्ज हैं। बात अगर करोड़पति उम्मीदवारों की करें तो 25 फ़ीसदी उम्मीदवार करोड़पति हैं।
पार्टियों के हिसाब से जारी दागी उम्मीदवारों में कांग्रेस के नौ मे से पांच उम्मीदवार गंभीर मामले में आरोपी हैं। भाजपा के 31 में से 18 के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज हैं। सपा के 31 प्रत्याशियों में 19 के खिलाफ आपराधिक मुकदमे दर्ज हैं। इसमें गंभीर अपराध वाले 15 उम्मीदवार हैं। इस मामले में बहुजन समाज पार्टी भी पीछे नहीं है बसपा के 40 में से 17 प्रत्याशियों के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज हैं। अन्य पार्टियों में राष्ट्रीय लोकदल के 21 में से तीन और सीपीआइ के 14 में एक प्रत्याशी के खिलाफ गंभीर आपराधिक मामले दर्ज हैं।
अंतिम चरण में जहाँ गाज़ीपुर में केंद्रीय मंत्री मनोज सिन्हा की प्रतिष्ठा दांव पर है वहीँ मऊ में बाहुबली नेता मुख़्तार अंसारी के पास अपना वर्चस्व कायम रखने की चुनौती है। इसके अलावा बनारस में प्रचार के आखिरी दिन भाजपा के लिए जहाँ प्रधानमंत्री मोदी के साथ दर्जन भर मंत्री मोर्चे पर डंटे रहे वहीँ अखिलेश राहुल और डिंपल भी अपनी ताकत का प्रदर्शन कर चुके हैं। अब आने वाले नतीजे बताएँगे कौन कितने पानी में है? भाजपा के लिए यहाँ चुनौती प्रधानमंत्री की साख बचाने की है। सपा कांग्रेस भी पूर्वांचल की इन 40 सीटों पर मजबूती से लड़कर ज्यादा से ज्यादा सीटें अपने पक्ष में करना चाहते हैं।