PMS: सभी लड़कियों में पीरियड्स होने से पहले कुछ हॉर्मोनल चैंजेस होते हैं। आमतौर पर सभी लड़कियों में पीरियड्स से हफ्ते भर पहले दर्द, चिड़चिड़ापन, स्तनों में दर्द जैसी समस्या होने लगती है। इस दौरान महिलाओं को काफी तकलीफ भी होती है। वैसे तो ये हमारे शरीर के अंदर कुछ हार्मोनल और रासायनिक बदलाव के कारण होता है, लेकिन क्या आप जानते हैं इसे क्या कहते हैं?
महिलाओं में पीरियड्स से पहले होने वाली इस समस्या को PMS यानी प्रीमेंस्ट्रुअल सिंड्रोम कहा जाता है। यह एक ऐसी स्थिति है जो एक महिला के मूड स्विंग को बाहर लाती है जब वह अपने पीरियड्स का सामना करने वाली होती है। कभी-कभी, पीएमएस के ये लक्षण हम पर इतना भारी पड़ जाते हैं कि ये हमारे नियमित कामकाज में बाधा उत्पन्न कर सकते हैं।

PMS: क्या होता है पीएमएस?
पीएमएस (प्रीमेंस्ट्रुअल स्ट्रेस) में किसी भी महिला को पीरियड्स शुरु होने से करीब 4 से 5 दिन पहले का समय होता है। इस रोग से ग्रसित होने पर महिला के व्यवहार में काफी बदलाव आता है। महिला को किसी चीज की खाने की बहुत अधिक लालसा होती है या फिर कुछ ज्यादा ही गुस्सा या फिर चिड़चिड़ापन हो जाता है। कई बार तो महिलाओं के मन में आत्महत्या जैसे ख्याल भी आने लगते है।
जानकारों का इस बारे में कहना है कि जब महिलाओं के शरीर में होने वाले हार्मोनल बदलाव के कारण पीएमएस होता है तो उन्हें शरीर में दर्द महसूस होता है। खासकर ब्रेस्ट या फिर पेट में दर्द। वहीं, कई लड़कियों का मूड अचानक बदल जाता है। वह छोटी-छोटी बातों पर गुस्सा होने लगती हैं।

PMS: किन्हें होता है पीएमएस
पीएमएस वैसे तो किसी भी लड़की या महिलाओं को हो सकता है। हालांकि, ये कुछ महिलाओं में खासकर होता है, जिनकी उम्र 20 से अधिक और 40 साल से कम होती है। जिन महिलाओं के बच्चे होते हैं। प्रसवोत्तर अवसाद (प्रसवोत्तर अवसाद (पीपीडी) एक चिकित्सीय अवस्था है जो कई स्त्रियों को शिशु के जन्म के बाद होती है)।

PMS: पीएमएस के लक्षण
पीएमएस के शारीरिक और मानसिक तरह के अलग-अलग लक्षण होते हैं। एस्ट्रोजन और प्रोजेस्टेरोन हार्मोन में गिरावट पीएमएस के लक्षणों को जन्म देती है। ये लक्षण इस तरह है…
1 -अधिक भूख लगना
2 -सिरदर्द, जोड़ों में दर्द
3 -पैरों और हाथों में सूजन
4 -पिंपल्स, वजन तेजी से बढ़ना
5 -डायरिया या कब्ज होना
6 -पेट फूलना, ब्रेस्ट में दर्द होना
7 -मूड बदलते रहना, डिप्रेशन
8 -बिना बात के रोना आना
9 -नींद ना आना

10 -लोगों से दूरी बना लेना
11 -बात-बात पर गु्स्सा आना
12 -अधिक थकान होना
13 -चीजों को भूल जाना, ध्यान लगाने में परेशानी होना।
PMS: पीएमएस होने के कारण
पीएमएस होना एक आम बात है। जो पीरियड्स के समय आपके शरीर में बदलाव के कारण होता है, लेकिन इसके कुछ अन्य कारण भी है, जिससे ये समस्या अपना गंभीर रूप ले लेती है। जैसे- धूम्रपान करना, बहुत अधिक तनाव में रहना, एक्सरसाइज ना करना, अनिद्रा की शिकायत, अधिक मात्रा में शराब, नमक, शुगर और लाल मीट का सेवन करना।
PMS: इन छोटे-छोटे बदलावों को करके करें इससे बचाव
- रोजाना कम से कम 30 मिनट एक्सरसाइज करें।
- हेल्दी फूड्स जैसे फल, हरी सब्जी, अनाज खाएं।
- अधिक से अधिक कैल्शियम वाले फूड जैसे दूध, दही, पनीर आदि अपने खाने में शामिल करें।
- धूम्रपान से बनाएं दूरी।
- कम से कम तनाव में रहने की कोशिश करें।
- नमक, एल्कोहल और कैफीन से दूरी बनाए।
(नोट- ये सामान्य जानकारी पर आधारित आर्टिकल है, अगर आपको ऐसी कोई समस्या है तो अपने चिकित्सक से सलाह जरूर लें।)
यह भी पढ़ें:
- खड़े होकर पीते हैं पानी तो हो जाइए सावधान, होते हैं ये बड़े नुकसान!
- क्यों हैवी ब्रेस्ट वाली महिलाओं को ज्यादा तंग करता है Bra Strap Syndrome? जानिए कैसे करें इससे बचाव