पूरी दुनिया में कोरोना के चलते लॉकडाउन हो रखा है। दुनिया के लोग वर्क फ्राम होम को तवज्जो दे रहे हैं। ऐसे मे विडियो कॉन्फ्रेंसिंग ऐप्स का इस्तेमाल इतना ज्यादा शायद कभी ना हुआ हो जितना कि अभी हो रहा है। बहुत सारे प्रफेशनल्स वर्क फ्रॉम हो कर रहे हैं, ऐसे में विडियो कॉन्फ्रेंसिंग और कॉलिंग ऐप्स के इस्तेमाल में जबरदस्त बढ़ोतरी हुई है। Zoom ऐप खासा पॉप्युलर हो गया है लेकिन अब सिक्यॉरिटी और प्रिवेसी इश्यूज सामने आए हैं।

भारत सरकार ने हाल ही में अपने कुछ डिपार्टमेंट्स और कर्मचारियों के लिए ज़ूम का इस्तेमाल ‘बैन’ कर दिया। अब सरकार चाहती है कि भारतीय स्टार्टअप ज़ूम के जवाब में कोई ऐप बनाएं। मिनिस्ट्री ऑफ इलेक्ट्रॉनिक्स ऐंड इन्फर्मेशन टेक्नॉलजी ने हाल ही में मेक इन इंडिया मुहिम के तहत इनोवेशन चैलेंज फॉर डिवेलपमेंट ऑफ ए विडियो कॉन्फ्रेंसिंग सॉल्यूशन का ऐलान किया।

जीतने वाले व्यक्ति या कंपनी को 1 करोड़ रुपये का इनाम दिया जाएगा। इस इनोवेशन चैलेंज में टीम हिस्सा ले सकती हैं। इसमें एक सॉफ्टवेयर डिवेलपमेंट लाइफ साइकल के सभी डोमेन से एक्सपर्ट होने चाहिए।इस चैलेंज के पहले स्टेज में कंपनियों का आइडिया देना होगा। कुल 10 टीमों को सिलेक्ट किया जाएगा। हर टीम को प्रोटोटाइप बिल्ड करने के लिए 5 लाख रुपये मिलेंगे।

एक ज्यूरी कंपनियों द्वारा बनाए गए प्रोटोटाइप को देखेंगे और फिर फाइनल स्टेज के लिए 3 टीमों को शॉर्टलिस्ट किया जाएगा। हर चुनी गई टीम को सॉल्यूशन यानी ऐप बनाने के लिए 20 लाख रुपये मिलेंगे।इसके बाद भारत सरकार द्वारा जिस ऐप को चुना जाएगा उसे केंद्र व राज्य सरकारें पहले एक साल के लिए इस्तेमाल करेंगी। विजेता टीम को 1 करोड़ रुपये का इनाम मिलेगा।

विडियो कॉलिंग ऐप में सभी विडियो रेजॉलूशन और ऑडियो क्वालिटी होनी जरूरी है ताकि यह कम और ज्यादा नेटवर्क की स्थिति में भी बेहतर काम कर सके। विजेता टीम को हर साल मेंटिनेंस और ऑपरेशनल कॉस्ट के लिए भी 10 लाख रुपये मिलेंगे।चैलेंज के मुताबिक, ऐप को हर डिवाइस पर काम करना चाहिए और यह लो पावर/प्रोसेसर कंज्यूम करने वाला होना चाहिए।

ऐप में मुख्य तौर पर विडियो/ऑडियो कॉलिंग, फाइल और स्क्रीन शेयरिंग जैसे फीचर्स होने चाहिए।इस चैलेंज में रजिस्ट्रेशन करने की आखिरी तारीख 30 अप्रैल है और आइडिया 7 मई तक सबमिट किए जा सकते हैं।भारत सरकार ने स्पष्ट कहा है कि इस चैलेंज में भाग लेने वाली कंपनियां स्टार्टअप ही हों।

29 जुलाई, 2020 को सरकार ऐप बनाने वाले फाइनल विनर का ऐलान करेगी।