केन्द्र सरकार ने अपने कर्मचारियों को बड़ा तोहफा दिया है। केन्द्र ने जनरल प्रोविडेंट फंड (जीपीएफ) निकासी के नियमों और सरल कर दिया हैं। अब केन्द्रीय कर्मचारी 15 दिनों के अंदर ही पैसा पा सकेंगे। हालांकि, यह शर्त उनके लिए है जिस कर्मचारी ने अपनी 10 साल की सेवा पूरी कर ली हो। वहीं दूसरी ओर देखा जाए तो सरकार ने इस शर्त में भी कर्मचारियों को राहत दी है। पहले यह सीमा 15 साल की थी, जिसे अब घटाकर 10 साल कर दिया गया है।
केन्द्र सरकार की ओर से दी गई इस राहत से कर्मचारियों को फायदा होगा। आपको दें कि जीपीएफ का फायदा सिर्फ सरकारी कर्मचारी ही ले सकते हैं। अब जीपीएफ का पैसा प्राथमिक, माध्यमिक व उच्चतर शिक्षा के लिए भी ले सकेंगे। पहले सिर्फ हाई स्कूल के बाद की शिक्षा के लिए निकाले जा सकते थे।
क्या है नए नियम–
- सगाई, शादी, अंतिम संस्कार, स्वयं या परिवार के किसी सदस्य व आश्रितों के समारोह या इलाज के लिए भी पैसा निकाल सकेते है।
- अब 12 माह के वेतन या जीपीएफ में कुल जमा का तीन चौथाई जो भी कम हो निकाला जा सकेगा।
- बीमारी की स्थिति में जीपीएफ के कुल जमा का 90 प्रतिशत निकाला जा सकेगा। इस स्थिति में 15 की बजाए 7 दिन में मिलेगा पैसा।
- टीवी, फ्रीज आदि उपभोक्ता टिकाऊ वस्तुओं की खरीदी के लिए जीपीएफ से पैसा निकाल सकते है।
- कार, मोटरसाइकल, स्कूटर आदि की खरीदी या इनके लिए पहले से लिए हुए कर्ज को चुकाने के लिए जीपीएफ से निकासी की जा सकेगी। इनकी बुकिंग, मरम्मत आदि के लिए भी जीपीएफ से पैसे निकाल सकेंगे।
- अब जीपीएफ निकासी के लिए कोई दस्तावेजी सबूतों की जरूरत नहीं। सिर्फ स्व-घोषण करनी होगी।