बिहार में अस्पतालों का खस्ता हाल छिपा नहीं है। टूटी हुई स्वास्थ्य व्यवस्था को लेकर राज्य अक्सर चर्चा में रहता है। देश भर में कोरोना का कहर जारी है। मरीजों की बढ़ती संख्या के कारण अस्पतालों में बेड़ की कमी है। ऑक्सीजन की कमी के कारण मरीज अस्पताल की सीढ़ियों पर दम तोड़ रहे हैं। ध्यान देने वाली बात है कि, देश की राजधानी दिल्ली कोरोना के सामने दम तोड़ चुकी है। बाकी यूपी-बिहार जैसे राज्यों का अंदाजा अपने आप लगाया जा सकता है। बिहार में कोरोना के बढ़ते कहर को देखते हुए नीतीश सरकार ने राज्य में 15 मई तक संपूर्ण लॉकडाउन लगा दिया है। मतलब देश में अब लॉकडाउन और नाइट कर्फ्यू के सहारे कोरोना को रोकने की कोशिश हो रही है।

इसी बीच बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने जनता से आग्रह किया है कि, शादी ब्याह को रोक दें, जान बचाने पर ध्यान दें। सीएम ने ट्वीट कर जनता को मनाने की कोशिश की है।

नीतीश कुमार ने ट्वीट कर लिखा, “कोरोना महामारी से लोगों की सुरक्षा के लिए राज्य सरकार तत्परता के साथ जरूरी कदम उठा रही है। कोरोना संक्रमण को नियंत्रित करने के लिए जनहित में आज से 15 मई तक लॉकडाउन लगाने जैसा कठिन निर्णय भी लेना पड़ा है। कृपया गाइडलाइंस का पालन कर कोरोना से मुक्ति के प्रयास में सहयोग करें।

कोरोना की चेन तोड़ने के लिए शादी को कुछ समय के लिए स्थगित करने का अनुरोध करते हुए नीतीश कुमार ने लिखा, “कोरोना से उत्पन्न अभूतपूर्व संकट की घड़ी में प्रदेशवासियों से आग्रह है कि शादी-विवाह जैसे खुशी के सामाजिक आयोजन, जिनमें कई जगहों के लोग जुटते हैं, को यदि कुछ समय के लिए स्थगित कर दें, तो कोरोना संक्रमण के चेन को तोड़ने में मदद मिलेगी। यह आपके परिवार और समाज के हित में होगा।”

बिहार के मुख्य सचिव त्रिपुरारी शरण ने सभी जिलों के डीएम को निर्देश दिया है कि लॉकडाउन का सख्ती से पालन कराएं। लॉकडाउन को कोई हल्के में न ले। मुख्य सचिव ने कहा किलॉकडाउन गंभीरता को सभी समझें। इसे ध्यान में रखते हुए आवश्यक कार्रवाई करें। इसको देखते हुए अपने अधीनस्थ अधिकारियों को सभी डीएम दिशानिर्देश जारी करें। मुख्य सचिव ने यह भी साफ किया है किसी भी जरूरतमंद को ई-पास लेने में कोई दिक्कत न हो, सुगमता से यह निर्गत हो, इसे सभी डीएम सुनिश्चित करेंगे। 

बता दें कि, इससे पहले बिहार में खस्ता स्वास्थ्य व्यवस्था को देखकर हाई कोर्ट ने राज्य सरकार को जमकर फटकार लगाई थी। हाई कोर्ट ने कहा था कि वो जल्द बताए कि वो लॉकडाउन को लेकर क्या सोंच रही है। वहीं हाई कोर्ट ने ये भी कहा था कि सरकार के पास कोई ठोस एक्शन प्लान तक नहीं है, वहीं अभी तक जो एक्शन प्लान दिए गए वो आधे-अधूरे थे।  

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