मध्य प्रदेश में बीजेपी की हार के बाद अब सभी की निगाहें इस बात पर है कि प्रदेश में नेता विपक्ष की जिम्मेदारी भारतीय जनता पार्टी किस नेता को सौंपती है। रेस में जहां पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की दावेदारी मजबूत मानी जा रही है।

वहीं सूत्रों के मुताबिक राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ शिवराज को नेता विपक्ष बनाने के पक्ष में नहीं है। आरएसएस इस पद के लिए नरोत्तम मिश्रा या गोपाल भार्गव जैसे किसी नेता को यह जिम्मेदारी दिए जाने के इच्छुक बताए जाते हैं।

आरएसएस सूत्रों के मुताबिक पार्टी नेतृत्व से कार्यकर्ताओं का एक बड़ा वर्ग संतुष्ट नहीं था, इसी वजह से बीजेपी ने चुनाव में खराब प्रदर्शन किया।

माना यह भी जा रहा है कि किसी ब्राह्मण नेता को विपक्ष का नेता बनाए जाने पर उच्च जाति के वोटरों में पार्टी के प्रति नाराजगी कम होगी, जिन्होंने चुनाव के दौरान बीजेपी को नुकसान पहुंचाया।

सूत्रों का कहना है कि संघ परिवार अब लोकसभा चुनाव पर फोकस करना चाहता है।

बता दें कि मध्य प्रदेश में हाल ही में संपन्न हुए विधानसभा चुनाव में कांटे के मुकाबले में बीजेपी को शिकस्त देकर कांग्रेस सबसे बड़ी पार्टी के तौर पर उभरी है।

कांग्रेस को बहुमत से दो कम 114 और बीजेपी को 109 सीटें हासिल हुईं। वहीं 2014 के लोकसभा चुनाव के दौरान बीजेपी ने राज्य की 29 में से 27 सीटों पर कब्जा किया था।

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