22 जून को की गई पॉलिटेक्निक सेकंड ईयर की छात्रा संस्कृति राय की हत्या की गुत्थी आज भी अनसुलझी है। संस्कृति के कातिलों की गिरफ्तारी के लिए पॉलिटेक्निक के छात्र-छात्राएं और समाजसेवी सड़कों पर प्रदर्शन कर रहे हैं। बड़ी संख्या में छात्रों ने कैंडल मार्च निकाला है। सड़क से लेकर सोशल मीडिया तक पर संस्कृति राय को इंसाफ दिलाए जाने की गुहार लगाई जा रही है। पुलिस के खिलाफ लोगों का गुस्सा बढ़ता ही जा रहा है। लोग पुलिस और योगी सरकार को कटघरे में खड़ा कर रहे हैं। प्रदेश की राजधानी लखनऊ से लेकर बलिया तक लोग सड़क पर कैंडल मार्च निकालकर उसके लिए इंसाफ की मांग कर रहे हैं।
सीएम योगी ने जांच यूपी एसटीएफ को सौंपी
बीते शनिवार को भी पॉलिटेक्निक छात्रों के एक प्रतिनिधिमंडल ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मुलाकात कर पुलिस की कार्यशैली पर सवाल खड़े किए थे। जिसके बाद सीएम योगी आदित्यनाथ ने मामले की जांच यूपी एसटीएफ को सौंपी दी है। मुख्यमंत्री के इस रूख से लखनऊ पुलिस के अधिकारी सकते में हैं।
पुलिस-FSL टीम ने किया क्राइम सीन का रिक्रिएशन
रविवार की सुबह पुलिस की टीम ने एफएसएल की टीम के साथ घटनास्थल पर पूरे क्राइम सीन का रिक्रिएशन किया। रिक्रिएशन के बाद एफएसएल के ज्वाइंट डायरेक्टर जी खान का भी मानना है कि, संस्कृति राय के सिर पर पीछे से कातिलाना हमला किया गया। कातिल से बचने के लिए संस्कृति राय हाईवे से नीचे गिर गई और अधिक खून बहने से उसकी मौत हो गई। संस्कृति की हत्या के बाद से बलिया के फेफना स्थित भगवानपुर गांव में मातम है। अधिवक्ता उमेश कुमार राय की 17 साल की बेटी संस्कृति राय को इंसाफ दिलाने के लिए लोगों ने सोशल मीडिया पर जस्टिस फॉर संस्कृति राय नाम से कैंपेन चलाया है।
रिपोर्ट आने के बाद पुलिस जांच का बढ़ेगा दायरा !
पुलिस टीम ने पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट भी देखी है। एफएसएल की टीम अब पूरी जांच रिपोर्ट फाइनल करने के बाद पुलिस को सौंपेगी। वहीं एसपी ट्रांसगोमती हरेंद्र कुमार का कहना है कि, रिपोर्ट आने के बाद पुलिस जांच को और आगे बढ़ाएगी।
सपनों को पंख देनेवाली संस्कृति को किसने और क्यूं मारा?
अपने माता-पिता की उम्मीदों और अपने सपनों को पंख देने के लिए संस्कृति बलिया स्थित अपने घर से सैकड़ों किलोमीटर दूर लखनऊ में रहकर पढ़ाई कर रही थी। ऐसे में सवाल यही कि, महज सत्रह साल की संस्कृति राय का दुश्मन कौन था जिसने उसकी हत्या कर दी। अब देखना होगा कि, लखनऊ पुलिस और एसटीएफ कब तक संस्कृति राय के कत्ल और कातिल के मकसद का खुलासा कर पाती है।
एपीएन ब्यूरो