अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय में लगे मोहम्मद अली जिन्ना की तस्वीर का विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है। एक तरफ जहां हिंदू संगठन विश्वविद्यालय के बाहर विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं तो वहीं बीजेपी नेता भी इसके विरोध में खड़े हो गए हैं। ऐसे में अब प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का भी बयान आया है। उन्होंने कहा कि जिन्ना ने हमारे देश का बंटवारा किया और हम किस तरह उनकी उपलब्धियों का बखान कर सकते हैं। भारत में जिन्ना का महिमामंडन बर्दाश्त नहीं किया जा सकता। योगी ने कहा कि जिन्ना भारत का प्रधानमंत्री बनना चाहते थे और यह ना हो सका तो उन्होंने पाकिस्तान की स्थापना करा दी। उन्होंने केवल भारत का बंटवारा कराया है।

वहीं दूसरी तरफ इस विवाद ने इतना तूल पकड़ लिया है कि विश्वविद्यालय में बुधवार को इसको लेकर विवाद हो गया। विवाद इतना बढ़ गया कि एएमयू छात्र संघ की ओर से पूर्व उपराष्ट्रपति हामिद अंसारी को आजीवन सदस्यता देने व उनके लेक्चर का कार्यक्रम तक रद करना पड़ा। देरशाम अंसारी दिल्ली लौट गए।  बता दें कि एएमयू सर्किल पर जिन्ना का पुतला फूंकने पहुंचे हिंदू जागरण मंच के दर्जनभर कार्यकर्ताओं से बुल (यूनिवर्सिटी सुरक्षाकर्मी) से झड़प हो गई। हिंदूवादी युवक पहली बार एएमयू के बाबे-सैयद (मुख्य द्वार) तक नारेबाजी करते पहुंचे और एक बुल को भी पीट दिया। विरोध में सैकड़ों एएमयू छात्र रिपोर्ट लिखाने थाने चल पड़े। पुलिस ने रोका तो उससे अभद्रता की।

वहीं योगी सरकार के इस रुख से साफ है कि अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी में जिन्ना की तस्वीर मामले में यूपी सरकार कोई कोताही नहीं बरतेगी। आपको बता दें कि योगी आदित्यनाथ आज कर्नाटक में चुनाव प्रचार करेंगे।

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