मध्यप्रदेश के इंदौर में रहने वाले सुयश दीक्षित ने एक ऐसा कारनामा कर दिखाया है जिसे जानकर शायद आपको अजीब या मजाक लगे लेकिन ये सच है। सुयश ने सूडान और मिस्त्र के बीच एक ऐसी जगह खोजी है जिस पर किसी भी देश का दावा नहीं है। इस जगह को सुयश ने अपना देश घोषित किया है।
आपको जानकर हैरानी होगी कि सुयश ने खुद को इस गैर–दावाग्रस्त इलाके का राजा बताते हुए संयुक्त राष्ट्र से उनके नए देश को मान्यता देने की बात कही है। इतना ही नहीं सुयश ने एक वेबसाइट बनाकर लोगों से इस देश की नागरिकता को लेने का आवदेन करने को भी कहा है। इसके साथ ही सुयश ने 800 वर्ग मील के इस क्षेत्र पर अपना झंडा लगाकर उसे ‘किंगडम ऑफ दीक्षित‘ और अपने पिता को अपने इस देश का राष्ट्रप्रमुख घोषित कर दिया।
सुयश ने अपने फेसबुक अकाउंट पर जब पहली बार उस क्षेत्र पर दावा करते हुए तस्वीरें डाली तो पूरी दुनिया में हलचल मच गई। उन्होंने अपनी कहानी भी शेयर की है, जिसमें सुयश ने बताया है कि वे 319 किमी का सफर कर यहां तक पहुंचे। जब वे इजिप्ट से निकले तो वहां शूट एंड साइट के ऑर्डर थे। वहां से बड़ी मुश्किल से निकलकर इस इलाके तक पहुंचे। उनके अनुसार रेगिस्तानी क्षेत्र में पहुंचने के लिए कोई सड़क भी नहीं थी। यहां आकर उन्होंने पौधा लगाने के लिए बीज बोया और उसे पानी दिया। सुयश का कहना है कि यहां पौधे का बीज लगाकर अब मैं यह दावा करता हूं कि यह सारी जगह मेरी है।
इसके साथ ही सुयश ने लिखा कि ‘किंगडम ऑफ दीक्षित’ की राजधानी सुयशपुर होगी, और देश के प्रमुख उनके पिता होंगे। यहीं नहीं उन्होंने छिपकली को अपने देश का राष्ट्रीय पशु होने की बात भी कह डाली।
खबरों की मानें तो ये पूरा इलाका रेगिस्तानी है, जो मिस्त्र और सूडान की दक्षिणी सीमा से लगा हुआ है। मिस्त्र और सूडान इसे अपना इलाका नहीं मानते। मिस्त्र का मानना है कि 800 वर्ग मील का यह इलाका सूडान का है, तो सूडान यह मानता है कि यह मिस्त्र का है।
सुयश चाहते हैं कि यूएन इस इलाके के लिए मान्यता दे। उन्होंने इस देश की एक वेबसाइट https://kingdomofdixit.gov.best नाम से भी तैयार की है। साथ ही लिखा है कि मेरे देश में अभी कई पोस्ट खाली हैं, कोई भी अप्लाई कर सकता है।