Viral Fever: बदलते मौसम में वायरल फीवर का कहर, जानें बचाव के उपाय

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बदलते मौसम में वायरल फीवर का कहर, जानें बचाव के उपाय
बदलते मौसम में वायरल फीवर का कहर, जानें बचाव के उपाय

मार्च के महीने में तापमान में उतार-चढ़ाव जारी है। दिन में तेज धूप और रात में हल्की ठंडक के कारण शरीर को अनुकूलन में परेशानी हो सकती है। बदलते मौसम के कारण हमारी रोग प्रतिरोधक क्षमता कमजोर हो जाती है, जिससे वायरल संक्रमण और पाचन संबंधी समस्याएं बढ़ जाती हैं। हाल के दिनों में वायरल फीवर के मामले तेजी से बढ़े हैं। अस्पतालों में मरीजों की संख्या 20-25% तक बढ़ गई है। परिवार के किसी न किसी सदस्य को वायरल फीवर होने की शिकायत मिल रही है। ऐसे में जरूरी है कि हम सतर्क रहें और अपनी सेहत का खास ध्यान रखें। आइए जानते हैं इस बीमारी से बचने के कुछ अहम उपाय।

मौसम बदलते ही क्यों बढ़ जाता है वायरल फीवर का खतरा?

स्वास्थ्य विशेषज्ञों के मुताबिक, तापमान में बदलाव के कारण शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता कमजोर हो जाती है। इससे सर्दी, खांसी और बुखार जैसी बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है। गर्मी के मौसम में भोजन जल्दी खराब हो सकता है, जिससे डायरिया और पेट संबंधी समस्याएं होने की संभावना भी बढ़ जाती है।

इस दौरान शरीर को अधिक पानी की आवश्यकता होती है। पानी की कमी से डिहाइड्रेशन, सिरदर्द, चक्कर आना और थकान जैसी समस्याएं हो सकती हैं। इसके अलावा, बदलते मौसम का असर नींद पर भी पड़ सकता है, जिससे शरीर कमजोर महसूस करता है।

वायरल फीवर के लक्षण और इससे जुड़ी समस्याएं

वायरल फीवर में बुखार, खांसी, गले में खराश, शरीर दर्द, थकान, सिरदर्द और कभी-कभी दस्त या उल्टी की समस्या हो सकती है।
यह संक्रमण कई तरह के वायरस के कारण होता है, जिनमें इन्फ्लूएंजा, डेंगू, चिकनगुनिया और सामान्य सर्दी-जुकाम के वायरस शामिल हैं।
कोरोना वायरस से प्रभावित लोगों में कमजोर इम्यूनिटी के कारण वायरल फीवर की अवधि बढ़ सकती है, जिससे मरीज एक महीने तक भी परेशानी झेल सकता है।

वायरल फीवर से बचने के लिए अपनाएं ये सावधानियां

  • वायरल संक्रमण से बचने के लिए साफ-सफाई का विशेष ध्यान रखें और बार-बार हाथ धोएं।
  • भीड़-भाड़ वाले स्थानों पर जाने से बचें और बाहर निकलते समय मास्क का उपयोग करें।
  • बिना डॉक्टर की सलाह के किसी भी प्रकार की दवा, विशेष रूप से एंटीबायोटिक दवाएं न लें।
  • शरीर को हाइड्रेट रखें और पौष्टिक भोजन का सेवन करें, जिससे इम्यून सिस्टम मजबूत बना रहे।
  • वायरल बुखार होने पर पर्याप्त आराम करें और डॉक्टर की सलाह जरूर लें।
  • संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आने से बचें और उनके देखभाल के दौरान कोविड-19 सुरक्षा उपायों का पालन करें।

वायरल फीवर आमतौर पर एक सप्ताह में ठीक हो जाता है, लेकिन अगर लक्षण गंभीर हों या लंबे समय तक बने रहें, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें। सावधानी और सतर्कता बरतकर हम खुद को और अपने परिवार को इस संक्रमण से बचा सकते हैं।