अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति जार्ज एच डब्ल्यू बुश का निधन हो गया है। वह 94 वर्ष के थे और लंबे समय से बीमार थे। जार्ज एच डब्ल्यू बुश के निधन की जानकारी उनके प्रवक्ता जिम मैकग्रा ने ट्विटर पर दी। जार्ज एच डब्ल्यू बुश के पुत्र एवं अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति जॉर्ज डब्ल्यू बुश ने एक वक्तव्य जारी करके कहा,“ जेब, नील, मार्विन, डोरो और मैं यह घोषणा करते हुए बहुत दुखी हैं कि 94 वर्ष के सराहनीय जीवन के बाद हमारे प्रिय पिता का निधन हो गया।” उल्लेखनीय है कि सीनियर बुश के पुत्र जॉर्ज डब्ल्यू बुश अमेरिका के 43वें राष्ट्रपति रहे।

अमेरिका के 41वें राष्ट्रपति रहे जार्ज एच डब्ल्यू बुश ने 2012 में पार्किंसन बीमारी से पीड़ित होने की घोषणा की थी। इस बीमारी से पीड़ित व्यक्ति को कहीं भी आने-जाने में काफी तकलीफ होती है। सीनियर बुश की पत्नी बारबरा बुश का 73 वर्ष की आयु में इस वर्ष 17 अप्रैल को निधन हो गया था। सीनियर बुश के परिवार में पांच संतान, 17 पोते तथा आठ प्रपौत्र हैं। जॉर्ज एच डब्ल्यू बुश का जन्म 12 जून 1924 को मैसचुसेट्स के मिल्टन में हुआ था। श्री जार्ज एच डब्ल्यू बुश 1989-1993 तक अमेरिका के 41वें राष्ट्रपति रहे।

अमेरिका के राष्ट्रपति बनने से पहले उन्होंने चीन में अमेरिकी राजदूत के तौर पर काम किया था। इसके साथ ही वह आठ वर्षों तक अमेरिका के उपराष्ट्रपति भी रहे थे। सीनियर बुश को पिछले कुछ महीनों के दौरान कई बार अस्पताल में भर्ती भी कराया गया था। उनकी पत्नी बारबरा के निधन के बाद से ही सीनियर बुश के स्वास्थ्य को लेकर चिंता बनी हुई थी। सीनियर बुश को अप्रैल में ही रक्त में संक्रमण के कारण अस्तपाल में भर्ती कराया गया था। वह अस्पताल में 13 दिन तक भर्ती रहे। इसके बाद रक्तचाप और थकान की शिकायत के कारण उन्हें मई में भी अस्पताल में भर्ती कराया गया। कुछ दिनों के बाद उन्हें वहां से छुट्टी दे दी गयी और 12 जून को उन्होंने अपना 94वां जन्मदिन मनाया था।

अमेरिका की केन्द्रीय खुफिया एजेंसी (सीआईए) के पूर्व अध्यक्ष सीनियर बुश आठ नवम्बर 1988 को राष्ट्रपति चुने गए थे। जार्ज एच डब्ल्यू बुश ने 20 जनवरी 1989 को अमेरिका के 41वें राष्ट्रपति के तौर पर शपथ ली और वह 20 जनवरी 1993 तक पद पर रहे। राजनीतिक स्थिरता और अंतरराष्ट्रीय आम सहमति के पक्षधर रहे सीनियर बुश की विचारधारा मौजूदा रिपब्लिकन राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के बिल्कुल विपरीत थी। वर्ष 2016 के चुनाव में सीनियर बुश ने ट्रम्प को अपना मत तक नहीं दिया था।

अमेरिकी राष्ट्रपति बनने वाले सीनियर जार्ज बुश द्वितीय विश्व युद्ध के अंतिम सैनिक थे। उनके कार्यकाल के दौरान सोवियत संघ का विघटन हुआ। वर्ष 1991 में सीनियर बुश के कार्यकाल में ही अमेरिका ने गठबंधन सेना के नेतृत्व में इराक के खिलाफ युद्ध छेड़ दिया, तब राष्ट्रपति सद्दाम हुसैन के नेतृत्व में इराक ने कुवैत पर हमला किया था। जॉर्ज एच डब्ल्यू बुश के इस कदम का अमेरिकी मतदाताओं ने समर्थन किया था लेकिन इसके बावजूद उन्हें दूसरा कार्यकाल नहीं मिला।

-साभार, ईएनसी टाईम्स